आधा दर्जन से अधिक घरों में घुसा बारिश का पानी
बीते पांच दिनों से लगातार हो रही मूसलधार बारिश अब झारखंड की उपराजधानी दुमका में तबाही मचाने लगी है। शनिवार को शहर के मध्य भाग में स्थित बक्शीबांध मोहल्ले के आधा दर्जन से अधिक घरों में बारिश का पानी घुस गया।
जागरण संवाददाता, दुमका: बीते पांच दिनों से लगातार हो रही मूसलधार बारिश अब झारखंड की उपराजधानी दुमका में तबाही मचाने लगी है। शनिवार को शहर के मध्य भाग में स्थित बक्शीबांध मोहल्ले के आधा दर्जन से अधिक घरों में बारिश का पानी घुस गया। इस मोहल्ले का एक हिस्सा नगर परिषद और दूसरा हिस्सा दुधानी पंचायत में आता है। दुधानी पंचायत वाले हिस्से में तकरीबन 100 घरों की घनी आबादी है। बीते कई वर्षों से जल निकासी की समुचित व्यवस्था नहीं होने के कारण बारिश के दिनों में यहां के लोग बाढ़ की त्रासदी जैसी पीड़ा झेल रहे हैं। बार-बार गुहार लगाने के बाद भी स्थिति जस की तस है।
शुक्रवार की शाम बक्शीबांध मोहल्ले के कई घरों में पांच फीट से अधिक पानी जमा हो गया। इसकी वजह से लोगों को भारी परेशानियों के साथ आर्थिक क्षति भी हुई है। मोहल्ले के लोगों को शुक्रवार की रात जाग कर बितानी पड़ी।
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शहर के सभी हिस्सों का पानी घुसता है इस मोहल्ले में: बक्शीबांध का यह इलाका काफी नीचे बसा है। नतीजतन शहर के कई हिस्सों का पानी इस मोहल्ले में घुस कर तबाही मचा रहा है। दुमका शहर के हदहदिया पुल, ठेका बाबा, दुधानी, कुमारपाड़ा, नया पाड़ा, जिला स्कूल रोड समेत कई हिस्सों का पानी इस इलाके में घुस रहा है। पानी निकासी की कोई व्यवस्था नहीं होने के कारण परेशानी दोगुनी हो गई है। इससे पूर्व वर्ष 2018 में भी जलजमाव की ऐसी ही स्थिति उत्पन्न हुई थी।
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मोहल्लेवासियों की गुहार पर देर रात पहुंचीं पूर्व मंत्री डॉ. लुइस: शुक्रवार की देर शाम आधा दर्जन से अधिक घरों में पांच से छह फीट तक जलजमाव के बाद त्राहिमाम की स्थिति उत्पन्न हो गई। घर में रखे सामान पानी में तैरने लगे। देर रात इसकी सूचना मिलने पर पूर्व मंत्री डॉ. लुइस मरांडी ने बक्शीबांध पहुंच कर मोहल्ले के लोगों को समाधान की दिशा में समुचित पहल का भरोसा दिया। कहा कि वे प्रशासन और सरकार को यहां की स्थिति से अवगत कराते हुए त्वरित कार्रवाई करने के लिए दबाव बनाएंगी। यहां बड़ा नाला का निर्माण शीघ्र हो, इसके लिए प्रयास करेंगी।
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क्या कहते हैं मोहल्ले के लोग
बारिश के दिनों में जलजमाव से जीना दूभर हो जाता है। जल निकासी की व्यवस्था नहीं होने का दंश बीते कई वर्षो से बक्शीबांध के लोग भुगत रहे हैं। प्रशासन व जनप्रतिनिधियों से गुहार लगाकर थक चुके हैं, लेकिन स्थिति जस की तस है।
वीरेंद्र कुमार, स्थानीय निवासी
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घरों में पानी घु़सने से काफी क्षति हुई है। शहर के हर हिस्से का पानी मोहल्ले में घुस कर तबाही मचा रहा है। इस पर अविलंब रोक लगनी चाहिए। अगर शीघ्र पहल नहीं की गई तो इस वर्ष बारिश के मौसम में घर में रहना मुश्किल हो जाएगा।
गौतम सिंह, स्थानीय निवासी
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घरों में पानी घुसने से लाखों रुपये की क्षति हुई है। जल निकासी की समुचित व्यवस्था की मांग वर्षों से मोहल्ले के लोग कर रहे हैं, लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है। जलजमाव की जानकारी प्रशासन को देने के बाद भी कोई पहल नहीं होना दुर्भाग्यपूर्ण है।
अंजनी पांडेय, स्थानीय निवासी
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जलजमाव के कारण जीवन नारकीय हो गया है। बरसात के दिनों में इस मोहल्ले में रहना आसान नहीं है। जलजमाव और इसके बाद फिर इसकी वजह से कीचड़ के कारण काफी परेशानी होती है। वहीं दुधानी पंचायत के मुखिया को इससे कोई खास सरोकार नहीं है।
रवि सिंह, स्थानीय निवासी
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बहुत परेशानी हो रही है। घर में पानी घुसने से सब बर्बाद हो गया है। लॉकडाउन के कारण पहले से जीवनयापन करना मुश्किल है। अब बरसात में रोज-रोज घर में जलजमाव से जीना दूभर हो गया है।
विनय सिन्हा, स्थानीय निवासी
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जिला प्रशासन को त्वरित कार्रवाई करनी चाहिए। जल निकासी के साथ सफाई की भी व्यवस्था करनी चाहिए। जलजमाव के कारण मोहल्ले के लोग परेशानी में हैं। बीमारी फैलने का भी खतरा बढ़ गया है। इसलिए डीडीटी का भी छिड़काव कराया जाना चाहिए।
गोविदा तिवारी, स्थानीय निवासी