सहायक पुलिस कर्मियों ने सड़क पर उतरकर मांगा हक

जागरण संवाददाता दुमका 27 सितंबर से हड़ताल में चल रहे सहायक पुलिसकर्मियों ने तीन सूत्री म

By JagranEdited By: Publish:Fri, 29 Oct 2021 12:10 AM (IST) Updated:Fri, 29 Oct 2021 12:10 AM (IST)
सहायक पुलिस कर्मियों ने सड़क पर उतरकर मांगा हक
सहायक पुलिस कर्मियों ने सड़क पर उतरकर मांगा हक

जागरण संवाददाता, दुमका: 27 सितंबर से हड़ताल में चल रहे सहायक पुलिसकर्मियों ने तीन सूत्री मांग को लेकर गुरुवार को शहर में प्रदर्शन कर नारेबाजी की और विधायक बसंत सोरेन, उपायुक्त व एसपी को आवेदन दिया।

पुलिस कर्मी ब्यूटी कुमार, राहुल कुमार व राकेश रंजन ने बताया कि वर्ष 17 में राज्य के 12 नक्सल प्रभावित जिले में 2500 कर्मियों की बाकायदा परीक्षा लेकर दस हजार वेतनमान पर नियुक्ति की गई थी। दुमका में 195 लोग काम कर रहे हैं। चार साल बीत जाने के बाद बीत जाने के बाद भी अभी तक एक बार भी वर्दी भत्ता नहीं मिला। जबकि, पुलिस महानिरीक्षक ने अक्टूबर 17 को सभी जिला के सहायक पुलिस को संख्या के हिसाब से बीस लाख रुपये आवंटित किया था। नियुक्ति के बाद संबंधित जिला के पुलिस अधीक्षक की ओर से सहायक पुलिस एक प्रमाण पत्र दिया जाता है जिसमें उल्लेख किया गया था कि शुरू में दो वर्षों के लिए नियुक्ति की जा रही है। बाद में, झारखंड पुलिस की सेवा के सदस्य के कर्तव्य जवाबदेही व अनुशासन से आच्छादित किया जाएगा। परन्तु विज्ञापन व नियमावली में इस बात की जिक्र नहीं किया गया था। उनकी नियुक्ति ना क्षेत्र में ही ड्यूटी में लगाकर नक्सल गतिविधि की जानकारी देने की थी। कहा कि सभी की सेवा को स्थायी किया जाए और मानदेय बढ़ाकर 24 हजार किया जाए। ड्यूटी के दौरान जो दुर्घटनाग्रस्त हुए हैं उन्हें राज्य स्तर पर यूनिफार्म सर्विस में सर्वाधिक दक्षता परीक्षा एवं चिकित्सीय परीक्षण में छूट दी जाए। मरने वालों के आश्रितों को 20 लाख और एक सदस्य अनुकंपा में नौकरी दी जाए। बर्खास्त जवानों को वापसी एवं पूर्व वेतनमान आंदोलन में हुई कानूनी कार्रवाई को निरस्त किया जाए। कहा कि यदि उनकी मांग पर तीन दिन के अंदर सरकार ने कोई निर्णय नहीं लिया तो राज्य के समस्त सहायक पुलिस स्वजनों के साथ रांची में आंदोलन को बाध्य होंगे।

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