Sawan Somvar 2021: आज सावन की दूसरी सोमवारी पर विशेष संयोग, अभिषेक और श्रुंगार को शिवालयों में श्रद्धालुओं की भीड़
झारखंड के देवघर में बाबा बैद्यनाथ और बासुकीनाथ में बाबा बासुकीनाथ बिराजते हैं। यहां सावन के सोमवार को तो लाखों की संख्या में श्रद्धालु जलाभिषेक करने के लिए देशभर से पहुंचते हैं। हालांकि कोरोना के कारण मंदिर को श्रद्धालुओं के लिए बंद रखा गया है।
जागरण संवाददाता, धनबाद/ देवघर। सावन का महीना चल रहा है। यह महीना भगवान भोले शंकर को समर्पित है। और सावन महीने में सोमवार का तो खास स्थान है। इस दिन भगवान शिव के भक्त खास पूजा करते हैं। झारखंड के देवघर में बाबा बैद्यनाथ और बासुकीनाथ में बाबा बासुकीनाथ बिराजते हैं। यहां सावन के सोमवार को तो लाखों की संख्या में श्रद्धालु जलाभिषेक करने के लिए देशभर से पहुंचते हैं। हालांकि कोरोना के कारण मंदिर को श्रद्धालुओं के लिए बंद रखा गया है। सिर्फ सरकारी पूजा हो रही है। 2 अगस्त को सावन का दूसरा सोमवार है। धनबाद के शिवालयों में सुबह से ही भक्त पहुंच रहे हैं। जलाभिषेक और पूजा कर रहे हैं। मंदिरों में महिलाओं की संख्या ज्यादा दिख रही है।
सावन में पार्वती संग शिव करते पृथ्वी का भ्रमण
ऐसी मान्यता है कि सावन मास में भगवान शिव माता पार्वती के साथ पृथ्वी का भ्रमण करते हैं और अपने भक्तों को आशीर्वाद प्रदान करते हैं। सावन का मास बहुत महत्वपूर्ण माना गया है। सावन के महीन में शिवभक्त पूरे महीने भगवान शिव की भक्ति में डूबे रहते हैं और भगवान शिव की पूजा और उपासना करते हैं। सावन के महीने में भगवान शिव की पूजा करने से मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। सावन में सोमवार की पूजा का विशेष महत्व बताया गया है। सोमवार का दिन भगवान शिव का प्रिय दिन माना गया है। इसीलिए सावन मास के सोमवार को भगवान शिव की पूजा के लिए अत्यंत उत्तम माना गया है। सावन सोमवार पर भगवान शिव का अभिषेक और श्रृंगार किया जाता है। भगवान शिव को उनकी प्रियों चीजों का भोग लगाया जाता है।
जानें भगवान शिव की पूजा की विधि
आज सावन का दूसरा सोमवार है। भगवान शिव की पूजा का विशेष संयोग भी बन रहा है। हिंदू कैलेंडर के अनुसार सावन यानी श्रावण मास 25 जुलाई 2021 को आरंभ हुआ था। सावन का पहला सोमवार 26 जुलाई 2021 को था। आज सावन का दूसरा सोमवार है। 02 अगस्त 2021, सोमवार को पंचांग के अनुसार इस दिन नवमी की तिथि और कृत्तिका नक्षत्र रहेगा। वहीं चंद्रमा वृषभ राशि में गोचर करेगा। पंचांग के अनुसार नवमी की तिथि का आरंभ 01 अगस्त 2021 को प्रात: 07 बजकर 59 पर होगा। नवमी की तिथि का समापन 02 अगस्त को 10 बजकर 30 मिनट पर होगा। सावन के दूसरे सोमवान में शिवजी का अभिषेक करने से जीवन में मान सम्मान में वृद्धि होती है और बाधाएं और परेशानियों से मुक्ति मिलती है। इस दिन शिव आरती और शिव चालीसा का पाठ करना चाहिए। भगवान शिव का श्रद्धा के साथ श्रृंगार करना चहिए। इसके साथ ही शिवजी को प्रिय चीजों का भोग लगाना चाहिए।
बाबा मंदिर में भक्तों को प्रवेश से रोकने के लिए विशेष व्यवस्था
दूसरी सोमवारी को लेकर बाबा मंदिर आसपास इलाके में जिला प्रशासन की ओर से चाक-चौबंद व्यवस्था कर दी गई है। रविवार शाम को ही मंदिर के चारों दरवाजे पर मजिस्ट्रेट व फोर्स को तैनात कर दिया। तीन पालियों में इनकी तैनाती की गई है। जिसमें सभी को सख्त निर्देश दिया गया है कि मंदिर के द्वार एवं आसपास में बाहरी श्रद्धालुओं का आवागमन या प्रवेश करने से पूरी तरह से रोक दिया जाए। साथ ही मंदिर के आसपास पहुंचने वाले श्रद्धालुओं को सम्मानपूर्वक समझा-बुझाकर वापस भेजें। श्रावण मास को लेकर जिला प्रशासन की ओर से प्रात: काल की पूजा व शाम को श्रृंगार पूजा के लिए इलेक्ट्रॉनिक चैनल के माध्यम से सीधा प्रसारण की सुविधा किया गया है ताकि श्रद्धालु घर बैठे बाबा का दर्शन कर सके।