सेंद्रा बांसजोड़ा कांटाघर के पास जमीन में बने गोफ की भराई

संवाद सहयोगी लोयाबाद सेंद्रा बांसजोड़ा कोलियरी कांटा घर के समीप भू-धंसान से बने गोफ के द

By JagranEdited By: Publish:Fri, 18 Jun 2021 11:34 PM (IST) Updated:Fri, 18 Jun 2021 11:34 PM (IST)
सेंद्रा बांसजोड़ा कांटाघर के पास जमीन में बने गोफ की भराई
सेंद्रा बांसजोड़ा कांटाघर के पास जमीन में बने गोफ की भराई

संवाद सहयोगी, लोयाबाद: सेंद्रा बांसजोड़ा कोलियरी कांटा घर के समीप भू-धंसान से बने गोफ के दूसरे दिन शुक्रवार को भी गैस व धुआं का निकलना जारी रहा। भूधंसान के चलते पुल के किनारे लगा ह्यूम पाइप (कल्वर्ट) जमीन के नीचे धंस गया तथा पुल पर नवनिर्मित आरसीसी सड़क में पड़ी दरारों से भी गैस का रिसाव हो रहा है। कोलियरी प्रबंधन द्वारा जमीन में धसे ह्यूम पाइप (कल्वर्ट) को निकाल कर मिट्टी की भराठी का काम शुरू कर दिया गया है। जिस स्थान पर भूधंसान की घटना घटी है वहां से मात्र पांच सौ गज की दूरी पर धनबाद-कतरास मुख्य मार्ग गुजरा है। इस घटना के बाद तेतुलमारी कोलियरी का कोयले का डिस्पैच पूरी तरह से ठप है। करीब चार हजार टन कोयले का प्रतिदिन डिस्पैच होता था। दिन के करीब साढ़े दस बजे जेसीबी मशीन के साथ क्षेत्रीय व कोलियरी अधिकारी के अलावा ठेकेदार मौके पर पहुंचे। हयूम पाइप को जमीन से निकालने का काम शुरू हुआ। ह्यूम पाइप को ठीक किया जा रहा है, ताकि पानी की निकासी ठीक से हो सके।

लगातार हो रही बारिश के कारण गुरुवार को जमीन धंस गई थी, जिसमें पुल के किनारे लगा ह्यूम पाइप भी नीचे चला गया था। पानी निकासी नहीं होने के कारण कांटा घर का इलाका जलमग्न हो गया था। करीब छह फिट चौड़ा और दस फीट गहरा गोफ बन गया था। पीओ जे के जयसवाल, एजीएम अवधेश कुमार, के आर सत्यार्थी, एरिया सेफ्टी अफसर आर सी प्रसाद की देखरेख में मिट्टी की भराठी का कार्य चल रहा है।

अब फिर से कराना होगा आरसीसी सड़क निर्माण

प्रदूषण विभाग के निर्देश पर प्रदूषण की रोकथाम के लिए बीसीसीएल प्रबंधन द्वारा 13 लाख रुपए की लागत से बनाया जा रहा डीच (आरसीसी सड़क) भूधंसान की चपेट में आने के कारण दरक गया है। विभाग के दिशा निर्देशों के मुताबिक दोनों तरफ उठा व बीच में गड्ढानुमा सड़क का निर्माण कराया जा रहा था। गड्ढा में पानी भरा रहता ताकि कोलियरी से निकलने वाला ट्रक का टायर पानी में धुल जाए और सड़क पर टायर में लगी मिट्टी नहीं पहुंचे। ट्रकों की टायरों से सड़क पर पहुंचनेवाली मिट्टी से काफी प्रदूषण फैलता है। बताया जाता है कि जर्जर पुलिया पर ही उक्त आरसीसी सड़क का निर्माण कराया गया है।

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