टुंडी से लेकर कलियासोल तक हुई मां विपदतारिणी की पूजा अर्चना

मैथन टुंडी से लेकर निरसा एग्यारकुंड व कलियासोल क्षेत्र में मंगलवार को मां विपदतारिणी की पूजा की गई। महिलाओं ने पूजा अर्चना कर अपने परिवार के सभी सदस्यों के सुरक्षा की कामना की।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 13 Jul 2021 06:18 PM (IST) Updated:Tue, 13 Jul 2021 06:18 PM (IST)
टुंडी से लेकर कलियासोल तक हुई मां विपदतारिणी की पूजा अर्चना
टुंडी से लेकर कलियासोल तक हुई मां विपदतारिणी की पूजा अर्चना

जाटी, मैथन : टुंडी से लेकर निरसा, एग्यारकुंड व कलियासोल क्षेत्र में मंगलवार को मां विपदतारिणी की पूजा की गई। महिलाओं ने पूजा अर्चना कर अपने परिवार के सभी सदस्यों के सुरक्षा की कामना की। पूर्वी गोविदपुर क्षेत्र के देवली, मोरंगा, भेलाटांड़, मुर्गाबनी, खड़काबाद, बरवापूर्व, आसना, तिलावनी आदि गांव में मां विपदतारिणी की पूजा की गई। देवली दुर्गा मंदिर प्रांगण में देवली, बरगीडीह, पत्थर खुली, जंगलपुर आदि गांव की सैकड़ों महिलाएं पूजा अर्चना करने पहुंचीं। पुजारी जितेन बनर्जी ने मां विपदतारिणी की कथा सुनाई। गलफरबाड़ी के कापासारा मोड़ में मां विपदतारिणी की पूजा पर 21 कुंवारी कन्याएं कापासारा आउटसोर्सिंग के पंप खदान से कलश में जल भरकर पूजा स्थल पहुंची। पंडित पोरेश चक्रवर्ती ने मंत्र जाप कर कलश में लाए गए जल से पूजा आरंभ की। पूजा के लिए अहले सुबह ही महिलाएं फल फूल लेकर पूजा स्थल पर पहुंच गई थीं। मुगमा स्टेशन रोड, शिवडंगाल, गोपालपुर, वृंदावनपुर में भी महिलाओं ने मां की पूजा की गई। दक्षिणी टुंडी स्थित ओझाडीह दुर्गा मंदिर में पूजा की गई। कोविड नियमों के तहत में बारी-बारी से पूजा कराई गई। यहां विपदतारिणी पूजा 10 वर्षों से पंडित वासुदेव तिवारी के स्वजन करा रहे हैं। ओझाडीह, मंझलीटांड़, कटनियां, आसनडाबर, छाताबाद, पतरो, गुवाकोला, सालपहाड़, कदैया, केशका, गोसाईडीह, नेटवारी, छागलकट्टा गांव से महिलाएं पूजा करने पहुंची थीं। कुमारधुबी क्षेत्र के दुर्गा मंदिर व हरिबोल मंदिर में मां विपदतारिणी की पूजा की गई। शिवलीबाड़ी मुंडाधौड़ा स्थित हरिबोल मंदिर में तरूण क्लब के सदस्यों ने पूजा के सफल आयोजन में अहम भूमिका निभाई। कलियासोल के विभिन्न दुर्गा व काली मंदिरों में मां की पूजा की गई। पंचेत क्षेत्र के चांच कोलियरी दुर्गा मंदिर, पातलाबाड़ी, डूमरकुंडा, बाबू डंगाल मोड़, बसंती माता में पूजा का आयोजन किया गया। गूरुपदो गोप, अजीत महतो, फनी, राजनाथ, दीपक गोप ने पूजा को सफल बनाने में भूमिका निभाई।

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