Coal India: पर्वतपुर कोल ब्लॉक के चालू होने की बढ़ी उम्मीद, इंकालाइन व साफ्ट की स्थिति का होगा मूल्यांकन

कोल ब्लॉक उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद वर्ष 2013 में कोल ब्लॉक का आवंटन रद कर दिया था। तब से इसके संचालन को लेकर कई बार कोल इंडिया सेल के बीच अदला-बदली हुई लेकिन मामला सलटा नहीं।

By MritunjayEdited By: Publish:Mon, 28 Sep 2020 05:44 PM (IST) Updated:Mon, 28 Sep 2020 05:44 PM (IST)
Coal India: पर्वतपुर कोल ब्लॉक के चालू होने की बढ़ी उम्मीद, इंकालाइन व साफ्ट की स्थिति का होगा मूल्यांकन
बोकारो के चंदनकियारी स्थित कोल इंडिया का पर्वतपुर कोल ब्लॉक।

तालगड़िया (बोकारो), जेएनएन। साढ़े पांच वर्षों के लंबे इंतजार के बाद अब पर्वतपुर कोल ब्लॉक के चालू होने का रास्ता साफ हो गया है। कोल इंडिया ने कोयला उत्पादन प्रारंभ करने से पहले कोल ब्लाक में स्थापित इंकालाइन व साफ्ट की स्थिति का मूल्यांकन करने के लिए टेंडर निकाला है। ताकि आगे की प्रक्रिया प्रारंभ हो सके। मूल्यांकन की रिपोर्ट आने के बाद मरम्मत एवं संचालन की निविदा निकलेगी और आगे का काम प्रारंभ होगा। मूल्यांकन के लिए कोल इंडिया लिमिटेड की ओर से ई-टेण्डर निकाली गई है । प्रबंधन ने 4 -इंकलाइन और 3 साफ्ट को चालू कर उत्पादन करना चाहती है । संभावना है कि प्रक्रिया पूरी होने के बाद कंपनी वर्ष के अंत तक कोयला उत्पादन कर सकती है। चूंकि अलग कार्यों के लिए निविदा भी तुरंत निकलने वाली है। कोल ब्लॉक के चालू होने के बाद इससे प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रूप से लगभग 5 हजार लोगों को रोजगार मिलने की संभावना है। खास बात यह है कि यहां से उत्पादन प्रारंभ होने पर बीसीसीएल बोकारो स्टील व इलेक्ट्रोस्टील का सीधे कोयला की आपूर्ति कर सकेगी।

कोल स्कैम के बाद उच्चतम न्यायालय के आदेश से बंद हुआ था कोल ब्लॉक

कोल ब्लॉक उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद वर्ष 2013 में कोल ब्लॉक का आवंटन रद कर दिया था। तब से इसके संचालन को लेकर कई बार कोल इंडिया, सेल के बीच अदला-बदली हुई लेकिन मामला सलटा नहीं। बाद में स्थानीय विधायक अमर बाउरी ने केन्द्रीय कोयला मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान से मिलकर पूरी समस्या को रखा। इसके बाद कोल ब्लॉक को फीर से कोल इंडिया को दे दिया गया। अब कोल इंडिया इसका संचालन करने जा रही है। इससे यहां के रैयतों को काफी लाभ होने की संभावना है।

कोल ब्लॉक का फैक्ट फाइल

1. वर्ष 2006 में भारत सरकार ने इलेक्ट्रो स्टील को आवंटित किया ।

2. वर्ष 2007 में भारत सरकार ने पर्यावरणीय स्वीकृति दी ।

3. करीब 403 एकड़ भूमि का कंपनी ने अधिग्रहण किया ।

4. 880 हैक्टेयर भूमि में फैला है कोल ब्लॉक ।

5. 10 हजार टन से अधिक कोयला का होता था उत्पादन ।

6. बिटुमिनस किस्म के कोयले का है भण्डार ।

7. लगभग 200 वर्ष का है कोल स्टाॅक ।

8. वर्ष 2013 में सुप्रीम कोर्ट ने रद किया कोल ब्लॉक का आवंटन ।

9. मार्च 2015 में इलेक्ट्रो स्टील से वापस ले लिया कोल ब्लॉक ।

10. वर्ष 2016 में सेल को आवंटित किया कोल ब्लॉक ।

11. वर्ष 2018 में सेल प्रबंधन ने किया सरेंडर ।

12. वर्ष 2019 में कोल इंडिया लिमिटेड को वापस दे दिया गया ।

13. वर्ष 2020 में सेल ने बीसीसीएल को किया हैण्ड ओवर ।

14. जून 2020 में बीसीसीएल ने टेकओवर किया।

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