सीमावर्ती ग्रामीणों को पाक गोलाबारी से हुए नुकसान का नहीं मिला मुआवजा

संवाद सहयोगी हीरानगर भारत-पाक अंतरराष्ट्रीय सीमा पर हीरानगर सेक्टर में पाकिस्तान पिछले दो साल तक गो

By JagranEdited By: Publish:Thu, 06 May 2021 11:30 PM (IST) Updated:Thu, 06 May 2021 11:30 PM (IST)
सीमावर्ती ग्रामीणों को पाक गोलाबारी से हुए नुकसान का नहीं मिला मुआवजा
सीमावर्ती ग्रामीणों को पाक गोलाबारी से हुए नुकसान का नहीं मिला मुआवजा

संवाद सहयोगी, हीरानगर: भारत-पाक अंतरराष्ट्रीय सीमा पर हीरानगर सेक्टर में पाकिस्तान पिछले दो साल तक गोलीबारी करता रहा। इस दौरान मोर्टार के गोले रिहायशी इलाकों में गिरने से दर्जनों मकान क्षतिग्रस्त हुए और दर्जनों पशु मोर्टार की चपेट में आकर घायल हुए। फसलों को भी काफी नुकसान पहुंचा था, लेकिन अभी तक प्रभावित लोगों को नुकसान का मुआवजा नहीं मिला।

राजस्व विभाग ने भी नुकसान की रिपोर्ट बना कर फाइलें डीसी कार्यालय कठुआ में भेज दी थी। छनटाडा के मनोहर लाल, दौलत राम व सतपाल, चक चंगा के सुंदर लाल, मुकेश कुमार, प्रवीण कुमार, बनारसी दास, मनियारी के बूटा राम, अनिल कुमार, राजूराम का कहना है कि पाकिस्तान की गोलीबारी से उनके मकान क्षतिग्रस्त हुए थे। कुछ मवेशी भी मरे थे, इसकी रिपोर्ट भी प्रशासन ने तैयार की थी। अभी तक उन्हें नुकसान का मुआवजा नहीं मिला, जबकि सरकार ने गोलीबारी से हुए नुकसान का मुआवजा देने का प्रावधान रखा है। उन्होंने कहा कि रिहायशी मकान पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए हैं, उनके नजदीक कभी दोबारा मोर्टार गिर जाए तो छत टूट सकते हैं। वैसे भी छत बारिश की बूंदे टपकते हैं। आíथक तंगी से वे उनकी मरम्मत नहीं करवा पाए। उन्होंने कहा कि डीसी कार्यालय के वह कई चक्कर लगा चुके हैं। वहा से एक ही जबाव मिलता है, अभी फंड नहीं आया। ग्रामीणों का कहना है कि गोलीबारी से प्रभावित लोगों की सरकार सुध नहीं ले रही। बार्डर की विशेष भर्ती में भी प्रभावित गावों के युवाओं को कोई छूट नहीं दी गई और ना ही नुकसान का उन्हें मुआवजा दिया जा रहा है। इस संबंध में एसडीएम राकेश कुमार का कहना है कि लोगों ने डीसी के वाडर के दौरे के दौरान भी माग रखी थी। कुछ फाईलें मुकम्मल नहीं थी, उन्हें दोबारा भेजा गया है।

chat bot
आपका साथी