स्कूलों में बच्चों के रैपिड जांच शुरू, कालेज में विद्यार्थियों के वैक्सीनेशन को लेकर असमंजस

जागरण संवाददाता कठुआ जिले के स्कूलों में बच्चों के रैपिड जांच करने की प्रक्रिया शुरू हो ग

By JagranEdited By: Publish:Tue, 14 Sep 2021 05:08 AM (IST) Updated:Tue, 14 Sep 2021 05:08 AM (IST)
स्कूलों में बच्चों के रैपिड जांच शुरू, कालेज में विद्यार्थियों के वैक्सीनेशन को लेकर असमंजस
स्कूलों में बच्चों के रैपिड जांच शुरू, कालेज में विद्यार्थियों के वैक्सीनेशन को लेकर असमंजस

जागरण संवाददाता, कठुआ: जिले के स्कूलों में बच्चों के रैपिड जांच करने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। इसके लिए बकायदा शिविर लगाए जा रहे हैं, वहीं कालेज के विद्यार्थियों के वैक्सीनेशन किया जा रहा है। इसके साथ ही असमंजस की स्थिति भी उत्पन्न हो गई है, क्योंकि 18 वर्ष के विद्यार्थियों को वैक्सीनेशन नहीं हो सकता है।

दरअसल, सरकार ने नौंवी से बारहवीं तक के स्कूलों व कॉलेजों को खोलने के आदेश दिए हुए है, लेकिन वैक्सीनेशन के लिए विद्यार्थियों की उम्र 18 साल अनिवार्य है। इस कारण शिक्षण संस्थानों में पूरी तरह से वैक्सीनेशन को सुनिश्चित बनाने के आदेश को लेकर असमंजस की स्थिति बन गई है, क्योंकि इस उम्र में कॉलेज में दाखिला लेने वाले पहले सेमेस्टर के विद्यार्थियों की उम्र 18 साल नहीं हुई है। ऐसे में कॉलेज प्रशासन उन्हें पूर्ण रूप से वैक्सीनेशन कैसे कराएगा, जबकि दो दिन पहले उच्च शिक्षा विभाग ने कॉलेज खोलने या नहीं खोलने के लिए स्थानीय प्रशासन को फैसला लेने का अधिकार दिया है। अब कॉलेज प्रबंधक डीसी द्वारा जारी किए जाने वाले आदेश का इंतजार कर रहे हैं, जबकि कॉलेज में जिन विद्यार्थियों की 18 साल की उम्र हो चुकी है, उन्हें कॉलेज प्रशासन ने लगभग कोरोना टीका कॉलेज परिसर में ही शिविर लगाकर लगवा दिया है, लेकिन वे विद्यार्थी तीसरे और पाचवें सेमेस्टर के है, जिनका अभी तक विश्वविद्यालय ने परिणाम ही नहीं घोषित किया है। ऐसे में कॉलेज प्रशासन किसके लिए कॉलेज खोलेगा।

फिलहाल, कॉलेज में प्रथम सेमेस्टर का दाखिला चल रहा है, जिनकी उम्र अभी 18 साल से कम है। उन्हें वैक्सीन नहीं हो सकता। ऐसे में पहले सेमेस्टर के विद्यार्थियों को बिना वैक्सीन के कक्षाएं लगाने की अनुमति दी जा सकती है। अगर आरटीपीसीआर टेस्ट किया जाता है तो उसकी भी अवधि 72 घंटे रहती है। ऐसे में उनका हर तीसरे दिन टेस्ट किया जाएगा, जो कि संभव नहीं है। जम्मू विश्वविद्यालय और उच्च शिक्षा विभाग अभी तक कॉलेज में कक्षाएं लगाने के लिए स्ट्डी नहीं कर पा रहा है, जिसे लेकर विद्यार्थियों और अभिभावकों सहित कॉलेज प्रबंधन में असमंजसता बनी है।

ऐसी ही स्थिति में बिना तैयारी के शिक्षा विभाग द्वारा स्कूल खोलने के आदेश देने के बाद बनी है, जिसमें स्कूलों में विद्यार्थियों की उपस्थिति नहीं के बराबर है। 12 तक के विद्यार्थी भी 18 साल से कम उम्र के हैं। अब उनके टेस्ट प्रक्रिया कई स्कूलों में की गई है। खरोट हायर सेकेंडरी स्कूल में टेस्ट प्रक्रिया सोमवार से शुरू की गई।

इसी बीच गवर्नमेंट पालीटेक्निक कॉलेज में वैक्सीनेशन प्रक्रिया शुरू की गई, जहां 33 विद्यार्थियों को वैक्सीनेशन की गई। वैक्सीनेशन के लिए स्वास्थ विभाग की टीम वहां पहुंची थी।

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