Jammu: ऑक्सीजन को जाया होने से बचाने के लिए टीमें गठित, MBBS अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की सेवाएं लें

जम्मू-कश्मीर सरकार ने सभी स्वास्थ्य संस्थानों को एमबीबीएस अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की सेवाएं लेने को कहा। उन्होंने वरिष्ठ फैकल्टी सदस्यों की निगरानी में इन विद्यार्थियों की सेवाएं टेली कंसल्टेशन और मामूली रूप से बीमार मरीजों की निगरानी करने के लिए लेने को कहा।

By Rahul SharmaEdited By: Publish:Mon, 10 May 2021 09:31 AM (IST) Updated:Mon, 10 May 2021 09:31 AM (IST)
Jammu: ऑक्सीजन को जाया होने से बचाने के लिए टीमें गठित, MBBS अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की सेवाएं लें
केंद्र ने हाल ही में एमबीबीएस के अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की सेवाएं लेने की इजाजत देने को कहा था।

जम्मू, राज्य ब्यूरो: जम्मू के डिवीजनल कमिश्नर के निर्देशों के बाद मेडिकल कालेज में आक्सीजन को जाया होने से बचाने के लिए टीमों का गठन कर दिया गया है। इसमें बायो मेडिकल इंजीनियरों के अलावा नर्सिंग स्टाफ के सदस्य भी शामिल हैं। इन टीमों को हर गैस प्वाइंट, फ्लोमीटर, पाइप लीकेज या फिर वाडों में किसी भी प्रकार की आक्सीजन लीकेज की जांच करनी होगी। टीमों को हर दो घंटे बाद इसकी रिपोर्ट भी सौंपनी होगी। डिवाइन अस्पताल के कर्मचारी पैनल की निगरानी करेंगे जबकि डयूटी इंजीनियर पूरी टीम की निगरानी करेंगे

एमबीबीएस अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की सेवाएं लें: जम्मू-कश्मीर सरकार ने सभी स्वास्थ्य संस्थानों को एमबीबीएस अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की सेवाएं लेने को कहा। उन्होंने वरिष्ठ फैकल्टी सदस्यों की निगरानी में इन विद्यार्थियों की सेवाएं टेली कंसल्टेशन और मामूली रूप से बीमार मरीजों की निगरानी करने के लिए लेने को कहा। मेडिकल कालेज जम्मू और श्रीनगर के प्रिंसिपलों के अलावा शेर-ए-कश्मीर मेडिकल कालेज बेमिना के प्रिंसिपल, नेशनल हेल्थ मिशन के डायरेक्टर चौधरी मोहम्मद यासीन को लिखे पत्र में कहा गया है कि इन सभी विद्यार्थियों को हर महीने पांच हजार रुपये स्टाइपेंड भी दिया जाए। यह स्टाइपेंउ उन विद्यार्थियों को दिया जाएगा जो कि कम से कम 100 दिन की कोविड डयूटी देते हैं।केंद्र सरकार ने हाल ही में एमबीबीएस के अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की सेवाएं लेने की इजाजत देने को कहा था।

मरीजों के लिए तैयार हुई कोविड किट: घरों में इलाज करवा रहे कोविड के मरीजों के लिए कोविड किट तैयार हो गई है। इसमें पल्स आक्सीमीटर के अलावा अन्य दवाइयां भी रखी गई हैं। स्वास्थ्य विभाग ने यह किट तैयार कर डिप्टी कमिश्नर कार्यालय को सौंपी है। यह किट अब मरीजों में विशेष रूप से बनाई गई टीमें बांटेगी। यही वह टीमें होगी जो मरीजों के स्वास्थ्य के बारे में भी जानकारी जुटाएंगी। जम्मू के मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी डा. जेपी सिंह, नोडल अधिकारी डा. नवीन भूटेयाल, सीनियर हेल्थ इंस्पेक्अर पवन जम्वाल, स्टोर कीपर मदन लाल शर्मा ने डथ्प्टी कमिश्नर कार्यालय जम्मू से आए सुरेंद्र कुमार को स्वास्थ्य निदेशालय में विशेष रूप से बनाई गई यह किट सौंपी। उन्होंने बताया कि यह किट अब लगातार तैयार की जा रही है। इनमें एक पल्स आक्सीमीटर, पैरासिटामोल, खांसी व गले में खराश की दवाई, एक एंटीवायरल दवा, एंटीबायोटिक और जिंक एवं विटामिन शामिल हैंं। यही नहीं दो इश्तिहार भी किट में रखे गए हैं जिनमें कोविड से बचाव पर एसओपी लिखी है। इसका मकसद घरों में बैठे मरीजों का बेहतर इलाज करना है। जम्मू के अलावा अन्य जिलों में भी इसी तरह कि किट बनाने की जिम्मेदारी मुख्य स्वास्थ्य अधिकारियों को सौंपी गई हैं।

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