शिक्षा के मंदिर में फैली रहती है कचरे की बदबू

डंपिग प्वाइंट की दुर्गंध में बीच चल रहा स्कूल

By JagranEdited By: Publish:Mon, 16 Dec 2019 08:16 AM (IST) Updated:Mon, 16 Dec 2019 08:16 AM (IST)
शिक्षा के मंदिर में फैली रहती है कचरे की बदबू
शिक्षा के मंदिर में फैली रहती है कचरे की बदबू

संवाद सहयोगी, आरएसपुरा: नगरपालिका की लापरवाही के चलते सरकारी स्कूल के बच्चे डंपिग प्वाइंट की दुर्गध के बीच शिक्षा हासिल करने को मजबूर हैं। स्कूल की दीवार के बाहर बने इस डंपिग प्वाइंट में लगे कूड़े के अंबार से उठने वाली दुर्गध से स्कूल में पढ़ने वाले बच्चे और अध्यापक ही नहीं, राहगीरों का भी जीना मुहाल हो गया है। स्कूल प्रबंधन ने कई बार इसकी लिखित शिकायत की, लेकिन डंपिग प्वाइंट को किसी दूसरी जगह नहीं शिफ्ट किया जा रहा है।

नगरपालिका के वार्ड नंबर छह बड़याल ब्राह्माणा मार्ग पर नगरपालिका कार्यालय के पास ही स्थित क्षेत्र के सबसे पुराने सरकारी सिटी मिडिल स्कूल की चहारदीवारी के साथ डंपिग प्वाइंट बनाया गया है। कई बार नगरपालिका को पत्र भेजकर इस डंपिग प्वाइंट को हटवाने की मांग की गई, लेकिन कुछ नहीं किया गया। इस डंपिग प्वाइंट से उठने वाली दुर्गध से लोग परेशान हैं। सबसे अधिक समस्या स्कूल के बच्चों को है। करीब सौ से ज्यादा बच्चों की कक्षा सुबह नौ बजे से लगती है। दोपहर दो बजे तक कचरा पड़ा रहता है। इस बीच कचरे की बदबू से बच्चे परेशान रहते हैं। पढ़ाने वाले शिक्षकों का कहना है कि बदबू इतनी ज्यादा होती है कि बच्चों को पढ़ाना मुश्किल होता है, लेकिन नगरपालिका के अधिकारी शिक्षकों की इस परेशानी का समाधान नहीं कर रहे हैं।

स्कूल की छात्रा वैशाली चौधरी ने बताया कि डंपिग प्वाइंट से उठने वाले बदबू से उनका कक्षा में बैठना मुश्किल हो जाता है। बदबू इतनी ज्यादा होती है कि पढ़ाई में मन नहीं लगता है। छात्रा शिवानी भगत ने बताया कि इतनी दुर्गध होती है कि बच्चे कई बार स्कूल आने के लिए बहाना करते हैं। इससे उनकी पढ़ाई पर असर पड़ रहा है। पर क्या करें मजबूरी है, बदबू के बीच ही बैठकर पढ़ाई करनी पड़ती है।

इसी तरह छात्रा तानिया मोटन ने बताया कि स्कूल की दीवार के बाहर डंपिग प्वाइंट होने से सारा दिन वहां कुत्ते और मवेशी मौजूद रहते हैं। कई बार मवेशियों ने बच्चों पर हमला भी किया है। कुत्ते भी काटने के लिए दौड़ पड़ते हैं। इस बारे में बच्चों के अभिभावकों ने भी इसकी शिकायत नगरपालिका अधिकारियों से की है, लेकिन अधिकारी लापरवाह हो गए हैं।

छात्र मानिक कुमार का कहना था कि लोगों को भी चाहिए कि जहां बच्चे पढ़ते हैं उसके पास गंदगी नहीं फेंके, लेकिन वे भी अपनी आदत से बाज नहीं आते हैं। सबसे ज्यादा लापरवाही नगरपालिका अधिकारियों की है, जिन्होंने स्कूल के पास डंपिंग प्वाइंट बना रखा है। ऐसा भी होता है कि कई बार नगरपालिका कई-कई दिन तक यहां से कचरा नहीं उठाती है। ऐसे में दुर्गध इतनी ज्यादा हो जाती है कि कक्षा में बैठना मुश्किल हो जाता है।

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स्कूल के पास कूड़ाघर के होने का कोई औचित्य ही नहीं है। नगरपालिका ने क्यों स्कूल के बाहर कूड़ा घर बनाया है, यह समझ से परे है। कचरे के ढेर से इतनी ज्यादा बदबू आती है कि बच्चों के लिए मन लगाकर पढ़ाई करना मुश्किल हो जाता है। इससे बीमारी फैलने का भी खतरा बना हुआ है। इस बारे में लिखित रूप में एसडीएम आरएसपुरा से लेकर नगरपालिका अधिकारियों को अवगत करवाया गया है, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही है।

-नीरज सांगरा, हेड मास्टर, सरकारी सिटी मिडिल स्कूल

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स्कूल के पास बने डंपिग प्वांइट को लेकर वे नगरपालिका की बैठक में समस्या उठा चुके हैं। यह बहुत गलत है कि स्कूल के बाहर डंपिग प्वाइंट बनाया गया है। इससे बच्चों और स्कूल स्टॉफ के अलावा वहां से गुजरने वालों को परेशानी होती है। बहुत जल्द इसको हटाने के लिए कदम उठाया जाएगा।

-सुनीत कुमार, पार्षद, वार्ड छह, आरएसपुरा

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