जम्मू कश्मीर : पाकिस्तानी आतंकी को नौ साल की सजा, सीआरपीएफ जवानों पर हमले की रची थी साजिश

इस आत्मघाती हमले में मारे गए आतंकियों से अवैध हथियार व गोलाबारूद बरामद हुए। मामले की जांच के दौरान पुलिस ने इस हमले के साजिशकर्ता मोहम्मद जुबेर इलाही निवासी मुल्तान पाकिस्तान समेत कई अन्य लोगों को गिरफ्तार किया।

By Rahul SharmaEdited By: Publish:Thu, 09 Dec 2021 02:52 PM (IST) Updated:Thu, 09 Dec 2021 02:52 PM (IST)
जम्मू कश्मीर : पाकिस्तानी आतंकी को नौ साल की सजा, सीआरपीएफ जवानों पर हमले की रची थी साजिश
अदालत ने उसे नौ साल के कारावास व 15 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई।

जम्मू, जेएनएफ : एनआइए की विशेष अदालत श्रीनगर ने पाकिस्तानी आतंकी मोहम्मद जुबेर इलाही निवासी मुल्तान को नौ साल के कठोर कारावास व 15 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। अदालत ने जम्मू-कश्मीर सरकार को जुबेर इलाही को पाकिस्तान भेजने का बंदोबस्त करने का निर्देश देते हुए कहा कि जब वह अपनी सजा भुगत ले तो उसे पाकिस्तान भेज दिया जाए। इसके लिए समय रहते प्रबंध किए जाए।

एनआइए अदालत ने इस केस में उड़ी निवासी बशीर अहमद उर्फ हरून भाई, सैयद मुख्तार हुसैन शाह निवासी बेमिना श्रीनगर व प्रदीप सिंह निवासी बारामूला को बरी कर दिया है। जांच एजेंसी इनके खिलाफ कोई पुख्ता सबूत पेश नहीं कर पाई जिसका लाभ देते हुए अदालत ने उन्हें बरी कर दिया।

केस के मुताबिक श्रीनगर में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए सीआरपीएफ की 73वीं बटालियन को तैनात किया गया था और बेमिना चौकी के निकट पुलिस पब्लिक स्कूल में इन्हें ठहराया गया था। 13 मार्च 2013 की सुबह करीब साढ़े दस बजे सीआरपीएफ के जवान कुछ बच्चों के साथ स्कूल के मैदान में क्रिकेट खेल रहे थे। इस दौरान हथियारों से लैस कुछ आतंकी मैदान में घुसे और ग्रेनेड फेंकने के बाद उन्होंने अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। गोलीबारी की आवाज सुनने पर पुलिस व सीआरपीएफ जवान मौके पर पहुंचे और जवाबी कार्रवाई में दो आतंकियों काे मार गिराया गया।

इस हमले में सीआरपीएफ के पांच जवान शहीद हो गए जबकि कुछ स्थानीय लोग व अन्य सीआरपीएफ जवान घायल हुए। इस आत्मघाती हमले में मारे गए आतंकियों से अवैध हथियार व गोलाबारूद बरामद हुए। मामले की जांच के दौरान पुलिस ने इस हमले के साजिशकर्ता मोहम्मद जुबेर इलाही निवासी मुल्तान पाकिस्तान समेत कई अन्य लोगों को गिरफ्तार किया।

मामले की सुनवाई के दौरान पुलिस ने बशीर अहमद उर्फ हरून भाई, सैयद मुख्तार हुसैन शाह व प्रदीप सिंह के खिलाफ पुख्ता सबूत नहीं जुटा पाई जिसके चलते अदालत ने उन्हें बरी कर दिया जबकि जुबेर इलाही पर आरोप साबित होने पर अदालत ने उसे नौ साल के कारावास व 15 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई।

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