Jammu: शोपिस बन गई ट्रैफिक पुलिस को मिली ई-चालान मशीनें, 2जी इंटरनेट स्पीड में मशीनों का संचालन करने में आ रही दिक्कत

ट्रैफिक अधिकारियों के पास चालक के ड्राइविंग लाइसेंस के साथ गाड़ी के रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट की जनकारी भी होगी। समय समय पर आरटीओ कार्यालय से ड्राइविंग लाइसेंस बने और रद्द होने की जानकारी को पोर्टल में अपडेट किया जाएगा।

By Rahul SharmaEdited By: Publish:Mon, 30 Nov 2020 10:42 AM (IST) Updated:Mon, 30 Nov 2020 10:42 AM (IST)
Jammu: शोपिस बन गई ट्रैफिक पुलिस को मिली ई-चालान मशीनें, 2जी इंटरनेट स्पीड में मशीनों का संचालन करने में आ रही दिक्कत
दो माह में ही ट्रैफिक कर्मियों का ई-चालन मशीन से मोह भंग हो गया हैं।

जम्मू, दिनेश महाजन: केंद्र सरकार ने मोटर वाहन नियम 1989 में संशोधन कर फर्जी दस्तावेजों के आधार पर वाहन चालकों पर नकेल कसने के लिए यातायात विभाग ने एक अक्तूबर से ई-चालान व्यवस्था को शुरू किया था। इसके तहत सूचना प्रौद्योगिकी पोर्टल के माध्यम से ड्राइविंग लाइसेंस और ई-चालान सहित वाहन संबंधी दस्तावेजों का रिकार्ड तैयार किया गया हैं। ट्रैफिक कर्मियों को वाहन के दस्तावेजों के बारे में जानकारी देने के लिए ई-चालान मशीनें दी गई थी, जो यातायात विभाग के पोर्टल से आन लाइन कनेक्ट रहती हैं।

ई-चालान मशीन से ही ट्रैफिक कर्मी वाहन के दस्तावेजों और उसके चालक के ड्राइविंग लाइसेंस के बारे में जानकारी हासिल कर सकता हैं। लेकिन जम्मू की बात करे तो यहां इंटरनेट की तेज गति ना होने और ई-चालान मशीन के कोर्ट के साथ आन लाइन कनेक्टिविटी ना होने के कारण ट्रैफिक कर्मी ई-चालान मशीन को छोड़ अब चालान बुक से ही यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले चालकों का चालान काट रहे हैं। कई ट्रैफिक के नाकों में यह भी देखा गया है कि ट्रैफिक कर्मियों को ई-चालान मशीनों का संचालन करना हीं नहीं आ रहा हैं। जिस कारण से दो माह में ही ट्रैफिक कर्मियों का ई-चालन मशीन से मोह भंग हो गया हैं।

ट्रैफिक पुलिस के पास हैं 40 ई-चालान मशीनें: फर्जी दस्तावेजों से वाहन चलाने वालों की पहचान करने के लिए ई-चालान व्यवस्था को जम्मू में शुरू किया गया था। पहले चरण में ट्रैफिक पुलिस को 40 ई-चालान मशीनें उपलब्ध करवाई गई थी और 40 नई ई-चालान मशीनों की खरीद का आर्डर पुलिस मुख्यालय से किया गया था। पुरानी ई-चालान मशीनों का प्रयोग ना होने के कारण नई मशीनों की खरीद पर रोक लगा दी गई हैं। ई-चालान मशीनें मोटर व्हीकल डिपार्टमेंट के पोर्टल से कनेक्ट होगी। जिसमें ट्रैफिक अधिकारियों के पास चालक के ड्राइविंग लाइसेंस के साथ गाड़ी के रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट की जनकारी भी होगी। समय समय पर आरटीओ कार्यालय से ड्राइविंग लाइसेंस बने और रद्द होने की जानकारी को पोर्टल में अपडेट किया जाएगा।

ऐसे काम करती है ई-चालान मशीनें: ई-चालान मशीन मोबाइल फोन की तरह हीं काम करती हैं। मशीन को स्टार्ट करते हुए इस पर विकल्प आ जाते हैं। जिसके चालक पोर्टल पर जा कर दस्तावेजों की जांच की जा सकती है या फिर चालान भी किया जा सकता हैं। जिस व्यक्ति का चालान हुआ है वह मौके पर जुर्माना देकर कंपाउंट चालान करवाए या फिर डेविट व क्रेडिट कार्ड से चालान कटवा दे। यदि उसके पास पैसे नहीं है तो वह बाद में अपने वाहन के दस्तावेज ट्रैफिक कर्मियों को सौंप कर बाद में एसपी ट्रैफिक कार्यालय में आ कर चालान की राशि जमा करवा सकता हैं। 

chat bot
आपका साथी