Union Territory Ladakh में तकनीकी शिक्षा को बढ़ावा देने को 19 सितंबर को पहुंच रहा आईआईटी निदेशकों का दल
Union Territory Ladakh लद्दाख पहुंच रहे दल में आईआईटी दिल्ली के निदेशक प्रोफेसर बी राम गोपाल राव आईआईटी मुंबई के निदेशक प्रोफेसर शुभासीस चौधरी आईआईटी कानपुर के निदेशक प्रोफेसर अभय करंदीकर व आईआईटी दिल्ली के प्रोफेसर बालाकृष्णन शामिल हैं।
जम्मू, राज्य ब्यूरो: केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख में तकनीकी, उच्च शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए इंडियन इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलॉजी दिल्ली मुंबई वह कानपुर के निदेशकों का उच्च स्तरीय दल 19 सितंबर से 5 दिवसीय दौरे पर आ रहा है।
दल लेह व कारगिल जिलों के दौरे कर लद्दाख में उच्च शिक्षा, उद्योग के क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए शिक्षा में गुणवत्ता लाने व इंजीनियरिंग संस्थान खोलने की दिशा में हो रही कार्रवाई करेगा। आईआईटी लद्दाख में शिक्षा विभाग को उच्च, तकनीकी शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए पूरा सहयोग देने जा रहा है। यह दल 23 सितंबर तक लद्दाख में रहेगा।
लद्दाख पहुंच रहे दल में आईआईटी दिल्ली के निदेशक प्रोफेसर बी राम गोपाल राव, आईआईटी मुंबई के निदेशक प्रोफेसर शुभासीस चौधरी, आईआईटी कानपुर के निदेशक प्रोफेसर अभय करंदीकर व आईआईटी दिल्ली के प्रोफेसर बालाकृष्णन शामिल हैं। यह दल 19 से 20 सितंबर तक कारगिल जिले में व 21 से 22 सितंबर को जिले का दौरा करेगी। दल लेह, कारगिल में अध्यापकों, विद्यार्थियों से बातचीत करने के साथ शिक्षा के बुनियादी ढांचे का निरीक्षण करने के लिए कुछ चुने हुए संस्थानों का दौरा भी करेगा।
इसी बीच उच्च स्तरीय यह दल इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी की ओर से पूरा सहयोग देने के लिए लद्दाख के उच्च शिक्षा विभाग से एक सहमति पत्र पर भी हस्ताक्षर भी करेगा। यह समझौता उपराज्यपाल आरके माथुर की मौजूदगी में होगा। इस समझौते के माध्यम से स्थानीय जरूरतों को ध्यान में रखते हुए उद्योग को बढ़ावा देने, कौशल विकास से बेरोजगारी दूर करने व अच्छे इंजीनियरिंग कालेज खोलने में सहयोग दिया जाएगा। ऐसा माना जा रहा है कि इस दौरे से लद्दाख में शिक्षा का स्तर और बेहतर होगा। स्थानीय युवाओं को शिक्षा क्षेत्र में बेहतर अवसर मिल पाएंगे।
आईआईटी निदेशकों का यह लद्दाख दौरा उपराज्यपाल आरके माथुर के दिल्ली में पिछले दो महीनों के दौरान हुए दौरों का नतीजा है। उपराज्यपाल आरके माथुर इन तीनों इंडियन इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलॉजी संस्थानों के निदेशकों से लगातार संपर्क में थे।