Jammu Kashmir Coronavirus Effect: कोरोना को हरा जिंदगी से हारा जीएमसी जम्मू का डॉक्टर रजत महाजन
जम्मू में कोरोना को मात देने के बाद किसी पीजी डाक्टर की यह पहली मौत है। डॉ. रजत की मौत के बाद जीएमसी में शोक की लहर है। कई वरिष्ठ डाक्टरों और उसके सहयोगियों ने डॉ. रजत की मौत पर गहरा दुख जताया है।
जम्मू, राज्य ब्यूरो: राजकीय मेडिकल कालेज में युवा डॉक्टर कोरोना को मात देने में अहम भूमिका निभा रहे हैं। लेकिन इस दौरान कई डाक्टर खुद भी संक्रमित हो चुके हैं। कुछ अपनी ड्यूटी देते हुए जान भी गवां चुके हैं। इन्हीं में एक युवा डॉ. रजत महाजन है जो कि कोरोना को तो मात दे चुका था लेकिन फिर से ड्यूटी देने के बाद बीमार हो गया और सोमवार को इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।
मेडिकल कालेज जम्मू के रेडियालोजी विभाग में पोस्ट ग्रेजुएशन द्वितीय वर्ष में पढ़ाई कर रहे डॉ. रजत महाजन कुछ सप्ताह पूर्व कोविड 19 से संक्रमित हो गया था। इस दौरान उपचार के बाद यह युवा डाक्टर ठीक हो गया। ठीक होने के मात्र दस दिनों के बाद ही वह फिर से ड्यूटी देने के लिए मेडिकल कालेज में आ गया। काम के प्रति उसका यह समर्पण उसकी जिंदगी जाने का कारण बन गया। रजत कुछ दिन बाद फिर से बीमार हो गया। उसने फिर छुट्टी ली। उसकी हालत घर में जब खराब होने लगी तो उसे परिजन बीएन जनरल अस्पताल में इलाज के लिए ले आए।
कुछ दिनों तक इस अस्पताल में भर्ती रहने के बाद भी उसकी हालत में जब सुधार नहीं हुआ तो उसे परिजन श्री माता वैष्णो देवी नारायणा सुपर स्पेशलिटी अस्पताल में ले गए। अस्पताल में उसकी इलाज के दौरान मौत हो गई। जम्मू में कोरोना को मात देने के बाद किसी पीजी डाक्टर की यह पहली मौत है। डॉ. रजत की मौत के बाद जीएमसी में शोक की लहर है। कई वरिष्ठ डाक्टरों और उसके सहयोगियों ने डॉ. रजत की मौत पर गहरा दुख जताया है।
आपको जानकारी हो कि इससे पहले भी जम्मू-कश्मीर में कुछ डॉक्टरों की कोरोना संक्रमण के कारण मौत हो चुकी है। इनमें कश्मीर में काम कर रहे नेशनल हेल्थ मिशन के डॉक्टर भी शामिल हैं। यही नहीं अब तक जम्मू-कश्मीर में 50 के करीब डॉक्टर संक्रमित हो चुके हैं। कुछ पैरा मेडिकल और नर्सिंग स्टाफ के सदस्यों की भी कोरोना के कारण मौत हुई है।