Earthquake in Jammu Kashmir: जम्मू-कश्मीर में आया भूकंप, रिक्टर स्केल पर 4.6 मापी गई तीव्रता
केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में भूकंप आने का सिलसिला लगातार जारी है। आज यानि वीरवार को ठीक 11 दिनों के उपरांत दूसरी बार भूकंप आया है। आज शाम 7.49 बजे भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 4.8 मापी गई।
जम्मू, जेएनएन। केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में भूकंप आने का सिलसिला लगातार जारी है। आज यानि वीरवार को ठीक 11 दिनों के उपरांत दूसरी बार भूकंप आया है। आज शाम 7.49 बजे भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 4.8 मापी गई। फिलहाल इससे अभी तक किसी भी जानमाल का नुकसान होने का कोई समाचार नहीं है।जारी जून महीने में अब तक प्रदेश में तीन बार भूकंप के झटके महसूस किए जा चुके हैं।
इससे पहले गत 6 जून को जम्मू-कश्मीर में 2.5 रिक्टर स्कूल की तीव्रता से भूकंप आया था। इससे पूर्व पहली जून को जम्मू-कश्मीर के डोडा में भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए थे। इसकी रिक्टर स्कूल पर 3.1 तीव्रता मापी गई थी।
22 मई को केंद्र शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर और लद्दाख में भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए थे। 22 मई की दोपहर 1.29 बजे भूकंप का हल्का झटका जम्मू कश्मीर में महसूस किया गया था। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 3.3 थी और इसका केंद्र जम्मू कश्मीर के कटड़ा से उत्तर पूर्व में 93 किलोमीटर दूर था। यहां यह बताना जरूरी है कि जम्मू कश्मीर और लद्दाख भूकंपीय क्षेत्र में आते हैं और यहां पर भूकंप के झटकों के आने की संभावना बनी रहती है।
गौरतलब है कि गत 21 मई को सुबह 11.02 बजे लद्दाख में भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। लद्दाख में 4.2 रिक्टर स्केल पर भूकंप की गति महसूस की गई। जम्मू कश्मीर और लद्दाख में पिछले छह महीनों में हर महीने भूकंप के झटके महसूस किए जा रहे हैं। इससे पहले गत 19 मई को केंद्र शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर के डोडा क्षेत्र में 3.2 रिक्टर स्केल की गति से भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। इससे पहले गत वर्ष दिसंबर, जनवरी, फरवरी और मार्च महीनों में भी भूकंप के झटके महसूस किए जा चुके हैं।
विशेषज्ञों का मानना है कि लद्दाख और जम्मू-कश्मीर में आ रहे भूकंप का केंद्र लगातार लद्दाख में बन रहा है। अगर कोई बड़ा झटका आ गया तो नुकसान होने की संभावना है। रियासी में भी फाल्ट लाइन है। जम्मू संभाग का डोडा, भद्रवाह, किश्तवाड़ भी भूकंप के लिहाज से संवेदनशील है। जम्मू कश्मीर लद्दाख में गत वर्ष सिर्फ सितंबर महीने में 10 बार भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। विशेषज्ञ इसे चिंता का विषय मान रहे हैं। उनका यह भी कहना है कि इससे दवाब कम होता है और बड़े झटके के आने की संभावना कम होती जाती है। लेकिन लगातार आ रहे झटके खतरा भी बढ़ा सकते हैं।