Coronavirus Effect: प्रतिरोधक क्षमता कम होने से कैंसर रोगियों के लिए और एहतियात जरूरी
डॉ. अबरोल ने कहा कि अगर किसी कैंसर रोगी को अस्पताल में इमरजेंसी में जाना पड़ता है तो यह जरूरी है कि वह सभी एहतियात बरते। मास्क पहने और अपने साथ सैनिटाइजर भी ले जाए।
जम्मू, जागरण संवाददाता। लॉकडाउन के कारण लोग अपने घरों में बैठने को विवश हैं लेकिन कैंसर के मरीजों की अपनी दिक्कतें हैं। यह बीमारी सुनकर पहले से पीड़ित मरीजों को इस समय मानसिक रूप से भी परेशान होना पड़ रहा है। कोरोना के कारण उत्पन्न हुए हालात के कारण उनकी समस्याएं बढ़ गई हैं। किसी की समय पर कीमोथेरेपी नहीं हो रही है तो किसी के रेडियोथेरेप के साइकिल में समस्या आ रही है। मेडिकल कॉलेज कठुआ में कैंसर रोग विशेषज्ञ डॉ. दीपक अबरोल का कहना है कि उन्हें घबराने की जरूरत नहीं है। अगर किसी को गंभीर समस्या आती है तो ही उसे अस्पताल में इस समय इलाज के लिए जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में इंफेक्शन से बचने की जरूरत है। दैनिक जागरण में हेलो डॉक्टर कार्यक्रम में पाठकों के प्रश्नों का जवाब देते हुए डॉ. अबरोल ने कहा कि कैंसर के मरीज एहतियात बरतें। इस समय इम्यून सिस्टम कमजोर होने के कारण उनमें भी कोरोना के संक्रमण की आशंका बनी रहती है।
हो रही है कीमोथेरेपी: डॉ. अबरोल ने कहा कि कीमोथेरेपी में देरी के कारण परेशान होने की जरूरत नहीं है। मरीजों को अपने डॉक्टर पर विश्वास करने की जरूरत है। इस समय अस्पतालों में इंफेक्शन के कारण ही मरीजों को आने से मना किया जा रहा है। अगर किसी की इस समय कीमोथेरेपी होनी है तो उसे अपने डॉक्टर से संपर्क कर उसकी राय लेनी चाहिए। अभी भी अस्पतालों में कीमोथेरेपी हो रही है। इस समय बीमारी बढ़ाने की जरूरत नहीं है बल्कि सभी को अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए।
बाद में भी हो सकती है सर्जरी: एक पाठक के प्रश्न के जवाब में डॉ. दीपक ने कहा कि अगर जरूरी न हो तो बाद में ही सर्जरी हो सकती है। कुछ मरीज ऐसे हैं जिन्हें तत्काल इलाज की जरूरत है। यह डॉक्टर और केस पर निर्भर करता है कि सर्जरी कब है। अगर किसी को गिल्टी है और चार साल से उसे कुछ भी नहीं हुआ है तो थोड़ा इंतजार किया जा सकता है। इस समय गैर जरूरी सर्जरी पहले से ही स्थगित कर दी गई हैं। गैर जरूरी ओपीडी भी नहीं हो रही है। अगर सर्जरी करने की इमरजेंसी होगी तो जरूर होगी।
साइकिल टूटने पर हो सकती है परेशानी: डॉ. दीपक ने कहा कि कुछ मरीजों के कीमोथेरेपी और रेडियोथेरेपी के साइकिल टूट रहे हैं। इसका कुछ नुकसान हो सकता है। लेकिन डॉक्टरों का पूरा प्रयास है कि किसी भी मरीज को कोई परेशानी न हो। मरीजों को भी परेशान नहीं होना चाहिए।
पहले से लें दवा: डॉ. अबरोल ने कहा कि अगर किसी मरीज को दवा नहीं मिल रही है तो उसके लिए परेशानी हो सकती है लेकिन कैंसर के सभी मरीजों को चाहिए अगर उनके पास दवा खत्म हो रही है तो वे अपने डॉक्टरों से संपर्क करें। पहले से ही दवा का प्रबंध करें। इससे एक दवा नहीं मिल रही है तो उसका विकल्प भी तलाशा जा सकता है। किसी भी मरीज को परेशानी नहीं होगी।
अस्पताल जाने से पहले बरतें एहतियात: डॉ. अबरोल ने कहा कि अगर किसी कैंसर रोगी को अस्पताल में इमरजेंसी में जाना पड़ता है तो यह जरूरी है कि वह सभी एहतियात बरते। मास्क पहने और अपने साथ सैनिटाइजर भी ले जाए। समय-समय पर हाथ साफ करे। जब अस्पताल से छुट्टी हो तो जूते भी घर के बाहर खोलें। कपड़े उतार कर दूसरे पहनें और पहले वालों को पानी में डाल कर धो लें। हाथों को साबुन से अच्छी तरह से साफ करें। डॉ. दीपक का कहना है कि स्वास्थ्य के प्रति सजग रह कर ही हम ठीक रहेंगे। इसके लिए सभी को जागरूक होना पड़ेगा। ध्यान रहे लापरवाही सेहत के लिए ठीक नहीं है।
शुक्रवार को डॉ. अभिनव देंगे खांसी, सांस संबंधी रोगों की जानकारी
एक ओर कोरोना का संक्रमण तो दूसरी ओर बदल रहे मौसम के कारण हर कोई परेशान है। छाती, गले में इंफेक्शन के मामले भी बढ़े हैं। बहुत से लोगों को यह लग रहा है कि खांसी, बुखार के कारण कहीं वे भी तो कोरोना वायरस से संक्रमित नहीं हो रहे हैं। पाठकों की इन्हीं समस्याओं को ध्यान में रखते हुए दैनिक जागरण ने शुक्रवार को छाती व सांस संबंधी रोगों के विशेषज्ञ डॉ. अभिनव शर्मा को अपने कार्यालय में आमंत्रित किया है। डॉ. अभिनव फोर्टिज एस्कॉर्ट न्यू दिल्ली, बसंतकुंज में कंसल्टेंट रह चुके हैं। वह बीएसए मेडिकल कॉलेज में भी अपनी सेवाएं दे चुके हैं। अगर किसी को सांस या फिर छाती से संबधित रोग के बारे में कोई भी जानकारी लेनी है तो वह शुक्रवार शाम को चार से पांच बजे के बीच डॉ. अभिनव शर्मा से टेलीफोन नंबर 0191-2457172 और 0191-2456653 पर संपर्क कर सकता है।