Coronavirus In Jammu Kashmir: इलाज के लिए कोविड संक्रमण की रिपोर्ट जरूरी नहीं, काोविड वार्ड में तीमारदार न भेजें
Coronavirus in Jammu Kashmir जीएमसी की प्रिंसिपल डा.शशि सूदन ने जीएमसी व सहायक अस्पतालों के सभी मेडिकल सुपरिटेंडेंट को निर्देश दिए हैं कि वे किसी भी कोविड वार्ड में किसी भी मरीज के साथ तीमारदार को अंदर जाने की अनुमति न दें।
जम्मू, राज्य ब्यूरो: मुख्य सचिव बीवीआर सुब्रहमण्यम ने रविवार को एक आदेश जारी कर कहा कि किसी भी मरीज को कोविड केयर सेंटर या अस्पताल में इलाज केलिए कोविड संक्रमित होने की रिपोर्ट दिखाना अनिवार्य नहीं होगा।
अगर किसी में कोविड के लक्षण है और वह अस्पताल में इलाज करवाना चाहता है तो उसे कोई भी अस्पताल चाहे वे सरकारी हो या फिर निजी, उसे भर्ती करने से मना नहीं कर सकता। हालांकि उन्होंने यह स्पष्ट किया है कि मरीज को किस स्तर के अस्पताल में भर्ती करना है, यह उसकी जांच करने के बाद उसकी हालत पर निर्भर करेगा।
यही नहीं अगर मरीज किसी दूसरे श्याहर का रहने वाला है तो भी उसे अस्पताल में भर्ती करने से इंकार नहीं किया जा सकता है।उसे आक्सीजन सहित जिस किसी की जरूरत है, उसे मुहैया करवाई जाए। मरीज को इसीलिए भी अस्पताल में भर्ती करने से इंकार नहीं किया जा सकता कि उसके पास उस शहर का पहचान पत्र नहीं है जहां का वह रहने वाला है।
आदेश में यह भी कहा गया है कि अस्पताल में एडमिशन जरूरत पड़ने पर ही होगी। ऐसे किसी भी व्यक्ति को अस्पताल में भर्ती नहीं किया जाएगा जिसे जरूरत नहीं है।
काोविड वार्ड में तीमारदार न भेजे मेडिकल सुपरिटेंडेंट: जीएमसी की प्रिंसिपल डा.शशि सूदन ने जीएमसी व सहायक अस्पतालों के सभी मेडिकल सुपरिटेंडेंट को निर्देश दिए हैं कि वे किसी भी कोविड वार्ड में किसी भी मरीज के साथ तीमारदार को अंदर जाने की अनुमति न दें। उन्होंने कहा कि अगर जरूरी है तो तीमारदार की पहले सहमति ली जाए और फिर कोविड का पूरा प्रोटोकाल पूरा किया जाए और उसके बाद ही उसे भीतर जाने दिया जाए।
उन्होंने कहा कि इससे संक्रमण को फैलने से रोका जा सकता है और पैरामेडिकल व नर्सिंग स्टाफ को मरीज की बेहतर देखभाल भी करने का अवसर मिलेगा। सिक्योरिटी प्रभारी को तीमारदार के वाड्रग के भीतर जाने और बाहर आने का समय नोट करने को कहा गया है। दस फीस से अधिक मरीजों के साथ एक वार्ड में तीमारदार नहीं होना चाहिए।