Coronavirus in Jammu Kashmir: घर-घर जाकर मरीजों के स्वास्थ्य का हाल जाना, कोविड किट भी दी
घरों में ही इलाज के दौरान होने वाली मौतों को भी रोका जा सकता है। वहीं जम्मू में मरीजों को कोविड किट देने की प्रक्रिया भी शुरू हो गई है। पहले दो दिनों में सात सौ मरीजों को किट देने का लक्ष्य रखा गया था।
जम्मू, राज्य ब्यूरो: जम्मू संभाग में घरों में इलाज करवा रहे मरीजों का हाल जानने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। कई जिलों में जिला उपायुक्तों द्वारा गठित टीमों ने घर-घर जाकर मरीजों के स्वास्थ्य को जानना शुरू कर दिया है। वहीं मरीजों को कोविड किट भी दी जा रही है। किट एक गैर सरकारी संस्था के सदस्य बांट रहे हैं।
जम्मू के डिवीजनल कमिश्नर डा. राघव लंगर ने निर्देश दिए थे कि घरों में इलाज करवा रहे कोविड मरीजों के अलावा संदिग्ध मरीजों के स्वास्थ्य की समीक्षा करें। इसके बाद सभी जिला मजिस्ट्रेट ने टीमों का गठन किया है। इनमें पटवारी या फिर राजस्व विभाग का कोई अन्य अधिकारी, कांस्टेबल, बीएलओ, आशा वर्कर, एएनएम या मेल मल्टीपर्पस वर्कर शामिल हैं।
टीम की सहायता के लिए टीचर, आंगनवाड़ी वर्कर या आंगनवाड़ी सुपरवाइजर भी साथ हैं। मंगलवार को जम्मू सहित कई जिलों में टीमों ने घरों में जाकर परिजनों के स्वास्थ्य की स्थिति, कोविड मरीज या संदिग्ध के स्वास्थ्य की स्थिति के बारे में पता करना शुरू किया। तीन दिनों के भीतर उन्हें प्रक्रिया को पूरा करना है।
टीम के सदस्यों को साफ निर्देश हैं कि अगर किसी मरीज की हालत खराब है तो उसे तुरंत त्रिस्तरीय व्यवस्था वाले कोविड अस्पताल में भर्ती करने के लिए भेजा जाए। अगर कोई बुजुर्ग है और उसे कोविड के अलावा अन्य कोई बीमारी भी है और घर में आइसोलेट होने में दिक्कत है तो उसे कोविड केयर सेंटर में भेजा जाए।
स्वास्थ्य विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि अभियान शुरू हो गया है। उम्मीद है कि इससे उन मरीजों को लाभ होगा जो कि अपने बारे में अभी तक सही जानकारी नहीं दे पाए हैं। इसे घरों में ही इलाज के दौरान होने वाली मौतों को भी रोका जा सकता है। वहीं जम्मू में मरीजों को कोविड किट देने की प्रक्रिया भी शुरू हो गई है। पहले दो दिनों में सात सौ मरीजों को किट देने का लक्ष्य रखा गया था। डिप्टी कमिश्नर जम्मू कार्यालय ने किट बांटने का काम एक गैर सरकारी संस्था को सौंपा है।