Corona Vaccine in Jammu Kashmir: कोरोना वैक्सीन के लिए आप भी करवा सकते हैं पंजीकरण, जानें क्या है प्रक्रिया

Corona Vaccine in Jammu Kashmir को-विन ऐप या वेबसाइट पर अपना मोबाइल नंबर डालने के बाद आपके पास एक ओटीपी आएगा। ओटीपी दर्ज करके आपको अपना एकाउंट बनाना है। इसमें आपको अपना नाम उम्र लिंग पिन नंबर की जानकारी देनी होगी।

By Rahul SharmaEdited By: Publish:Tue, 02 Mar 2021 08:56 AM (IST) Updated:Tue, 02 Mar 2021 08:58 AM (IST)
Corona Vaccine in Jammu Kashmir: कोरोना वैक्सीन के लिए आप भी करवा सकते हैं पंजीकरण, जानें क्या है प्रक्रिया
स्वास्थ्य विभाग इसके बाद आपको अस्पताल का नाम और तिथि बताएगा और वहां जाकर आपको टीका लगवाना है।

जम्मू, राज्य ब्यूरो। कोरोना वैक्सीन के टीकाकरण के लिए आप कोविन 2.0 पोर्टल पर अपना पंजीकरण करवा सकते हैं। यही नहीं आरोग्य सेतू ऐप के जरिए भी कोविन वेबसाइट पर पंजीकरण हो सकता है। इसके अलावा आप चाहें तो अपने नजदीक के टीकाकरण केंद्र में जाकर भी पंजीकरण करवा सकते हैं।

को-विन ऐप या वेबसाइट पर अपना मोबाइल नंबर डालने के बाद आपके पास एक ओटीपी आएगा। ओटीपी दर्ज करके आपको अपना एकाउंट बनाना है। इसमें आपको अपना नाम, उम्र, लिंग, पिन नंबर की जानकारी देनी होगी। यही नहीं एक फोटो पहचान पत्र भी अपलोड करना होगा। लेकिन अगर आप 45 वर्ष से 59 वर्ष के बीच हैं और आपको कोई बीमारी है तो उसका प्रमाणपत्र भी आपको अपलोड करना होगा।

यह प्रमाणपत्र पंजीकृत डाक्टर द्वारा दिया गया हो। साठ से अधिक उम्र के लोगों को आधार कार्ड से ही अपना पंजीकरण करवाना है। उन्हें अन्य किसी भी इस्तावेज की जरूरत नहीं है। आपको टीकाकरण केंद्र और टीका लगवाने की तिथि भी भरनी होगी। आप एक मोबाइल नंबर के जरिए चार लोगों का पंजीकरण करवा सककते हैं।

स्वास्थ्य विभाग इसके बाद आपको अस्पताल का नाम और तिथि बताएगा और वहां जाकर आपको टीका लगवाना है।

स्कूलों में शुरू हुई विद्यार्थियों की स्वास्थ्य जांच

मिशन निदेशक मिड डे मील ने नेशनल हेल्थ मिशन के साथ मिलकर सोमवार को विंटर जोन के स्कूलों में विद्यार्थियों की स्वास्थ्य जांच शुरू की। जम्मू-कश्मीर के सभी सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों के स्वास्थ्य की जांच होगी। पहली से 12वीं कक्षा तक के बच्चों के स्वास्थ्य की स्थिति का जायजा लिया जाएगा।

इन विद्यार्थियों को स्वास्थ्य कार्ड भी जारी किए गए हैं। स्कूल शिक्षा विभाग के प्रशासनिक सचिव बीके सिंह ने मिड डे योजना के मिशन निदेशक की इस पहल की सराहना की। उन्होंने कहा कि सभी सरकारी स्कूलों को अपने यहां पढ़ने वाले बच्चों के स्वास्थ्य की स्थिति के बारे में जानकारी होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि अभी तक सरकारी स्कूजलों में पढ़ने वाले 12.07 लाख विद्यार्थियों में स्वास्थ्य कार्ड वितरित किए जा चुके हैं।

यह सब राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत हो रहा है।इन कार्ड में बच्चों के टीकाकरण की स्थिति, बच्चों की अद्धवर्षीय परीक्षा का रिकार्ड, किसी चीज की कमी के कारण बीमारी, जन्मजात बीमारी के बारे में लिखा होता है। मिड डे मील के मिशन निदेशक डा. अरुण मन्हास का कहना है कि कोरोना महामारी के बाद स्कूल खुलने के बाद यह कदम उठाया गया है। अभी जांच पुंछ, सांबा, कठुआ और जम्मू जिलों में शुरू की गई है।

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