ठियोग में पैदल रास्ते पर तहबाजारियों का कब्जा
राष्ट्रीय राजमार्ग-पांच के किनारे पैदल चलने वालों के लिए बने रास्ते पर तहबाजारियों ने दुकानें सजा रखी हैं।
सुनील ग्रोवर, ठियोग
राष्ट्रीय राजमार्ग-पांच के किनारे पैदल चलने वालों के लिए बने रास्ते पर तहबाजारियों ने दुकानें सजा रखी हैं। इसके कारण लोगों को मजबूरन वाहनों की तेज रफ्तार से बचकर सड़क किनारे चलना पड़ता है। तहबाजारियों ने राष्ट्रीय राजमार्ग पर अस्थायी शेड बना दिए हैं, लेकिन विभाग इस ओर कोई ध्यान नहीं दे रहा है। बस अड्डे से लेकर पेट्रोल पंप तक तहबाजारी अस्थायी शेड में व्यापार करते हैं और पैदल चलने वालों के रास्ते पर सामान सजाकर बेचते हैं।
इस जगह पर दो निजी स्कूल हैं, जिनमें 1500 सौ से अधिक विद्यार्थी रोजाना इसी सड़क के रास्ते से आवाजाही करते हैं। सड़क किनारे पैदल चलने वाले रास्तों पर दुकानों के सजने से बच्चों को सड़क पर चलना पड़ता है। एनएच होने के कारण भारी और छोटे वाहन तेजी से गुजरते हैं और बच्चों के साथ कोई भी गंभीर दुर्घटना होने का खतरा हमेशा बना रहता है। स्थानीय प्रशासन की ढील के कारण सड़क किनारे बना दिए हैं अस्थायी शेड
स्थानीय प्रशासन के अधिकारी इसी रास्ते से गुजरते हैं, लेकिन इन तहबाजारियों की ओर उनका कोई ध्यान नहीं जाता। पिछले वर्ष से इन जगह पर अन्य राज्यों से आए लोगों ने कारोबार शुरू किया है और रेहड़ी-फड़ी लगाकर पैदल रास्ते पर अपना कब्जा जमा लिया है। प्रशासन की ढील के कारण यहां पर अस्थायी शेड बना दिए गए हैं। स्वयंसेवी संस्थाएं पहले भी उठा चुकी हैं आवाज
ठियोग की जनता के हित से जुड़ी पेंशनर्स यूनियन, आस्था फाउंडेशन, रिदम ब्वायज जैसी स्वयंसेवी संस्थाएं सड़क किनारे फुटपाथ बनाने की मांग प्रशासन के सामने उठा चुकी हैं। प्रशासन के ढुलमुल रवैये के कारण यह योजना ठंडे बस्ते में है। यहां पर कई स्कूली बच्चे दुर्घटना के शिकार भी हो चुके हैं, लेकिन इन तहबाजारियों के प्रति प्रशासन और विभाग का रवैया नर्म होने के कारण समस्या जस की तस बनी हुई है। लोगों ने प्रशासन और विभाग से तहबाजारियों पर नुकेल कसने और पैदल चलने की जगह को खाली करवाने की मांग की है। पुलिस की मदद लेकर जल्द पैदल रास्ते की जगह को खाली करवाया जाएगा। राष्ट्रीय प्राधिकरण ने पुलिस को इन जगह को खाली करवाने के लिए अतिरिक्त सुरक्षा बल देने के लिए पत्र लिखा है। पुलिस बल मिलने के बाद जल्द ही इन स्थानों को खाली करवाया जाएगा।
- बीके गोयल, एसडीओ ठियोग।