ब्लैक स्पॉट पर सुधार के लिए नीति लागू

प्रदेश सरकार ने ब्लैक स्पॉट के सुधार के लिए नई नीति लागू कर दी है

By JagranEdited By: Publish:Thu, 14 Jan 2021 07:10 PM (IST) Updated:Thu, 14 Jan 2021 07:10 PM (IST)
ब्लैक स्पॉट पर सुधार के लिए नीति लागू
ब्लैक स्पॉट पर सुधार के लिए नीति लागू

रमेश सिंगटा, शिमला

प्रदेश सरकार ने ब्लैक स्पॉट के सुधार के लिए नई नीति लागू कर दी है। ऐसा सड़क सुरक्षा पर सुप्रीम कोर्ट की ओर से गठित कमेटी के निर्देशों का पालना करने के मद्देनजर किया है। इस कमेटी ने 29 अक्टूबर को यह निर्देश दिए थे। इनमें कहा है कि राज्य ब्लैक स्पॉट सुधारने को लेकर प्रभावी निगरानी तंत्र विकसित करें। इस संबंध में लोक निर्माण विभाग के इंजीनियर इन चीफ (ईएनसी) बीके शर्मा ने शिमला, मंडी, हमीरपुर और कांगड़ा जोन के चीफ इंजीनियरों को पत्र लिखकर नई नीति लागू करने को कहा है।

इसमें प्रधान सचिव लोक निर्माण के उस पत्र का भी हवाला दिया है, जिसमें उन्होंने निगरानी तंत्र की ड्राफ्ट पॉलिसी को स्वीकृति दी है। अभी निगरानी करने का व्यवस्थित तंत्र नहीं है। चिह्नित ब्लैक स्पॉट के बारे में न लोनिवि और न दूसरी एजेंसियों के माध्यम से कोई यूनिक आइडी नंबर असाइन किया है। अब तय हुआ है कि ऐसा नंबर लोक निर्माण विभाग असाइन करेगा। जेई रखेंगे पूरा रिकॉर्ड

प्रदेश में ब्लैक स्पॉट और इसमें तीन वर्ष तक होने वाले सड़क हादसों का रिकॉर्ड लोनिवि के जेई तैयार करेंगे। सड़क सुरक्षा सेल के सर्कल स्तर के अधिकारी इनका नियमित दौरा कर आंकड़ों का विश्लेषण करेंगे। सभी स्पॉट की वीडियोग्राफी कर जो ठीक कर दिए जाएंगे, उनकी भी पूरी निगरानी करनी होगी। तीन साल तक होगा मूल्यांकन

उपमंडल स्तर के अधिकारी तीन साल तक लगातार मूल्यांकन करेंगे। वे इसकी रिपोर्ट पुल एवं सड़क के मंडल स्तर के अधिकारियों को देंगे। वहां से इसे एसई, सड़क सुरक्षा सेल के अध्यक्ष को ईएनसी के कार्यालय में भेजी जाएगी। क्या है ब्लैक स्पॉट

राष्ट्रीय राजमार्ग, राज्य राजमार्ग, मुख्य जिला सड़कें, अन्य सड़कों के ऐसे स्ट्रैच जो पांच सौ मीटर के दायरे में फैले हों और वहां तीन साल तक पांच सड़क हादसे हुए हों अथवा इसी अवधि में हादसे में 10 मौतें हुई हों तो उसे ब्लैक स्पॉट कहा जाता है। एक बार जब इसे ठीक कर दिया जाता है तब भी इस पर अगले तीन वर्ष तक निरंतर निगरानी रखी जाएगी। दैनिक जागरण ने चलाया था अभियान

सड़क सुरक्षा के लिए दैनिक जागरण ने विशेष अभियान चलाया था। इसमें ब्लैक स्पॉट सहित सड़क सुरक्षा, लोगों को जागरूक करने से जुड़े कई पहलुओं को उजागर किया गया था।

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