रामपुर के वार्ड सात में एक वोट से जीता कांग्रेस समर्थित प्रत्याशी

संवाद सहयोगी रामपुर बुशहर नगर परिषद रामपुर के चुनाव में इस बार भी वार्ड नंबर सात में जीत व

By JagranEdited By: Publish:Tue, 12 Jan 2021 03:51 PM (IST) Updated:Tue, 12 Jan 2021 03:51 PM (IST)
रामपुर के वार्ड सात में एक वोट से जीता कांग्रेस समर्थित प्रत्याशी
रामपुर के वार्ड सात में एक वोट से जीता कांग्रेस समर्थित प्रत्याशी

संवाद सहयोगी, रामपुर बुशहर : नगर परिषद रामपुर के चुनाव में इस बार भी वार्ड नंबर सात में जीत व हार का फैसला केवल एक वोट ने ही किया है। अन्यथा वार्ड नंबर तीन में कई बार मुकाबला एक वोट, बराबरी और टॉस तक करवाने पर छूट चुका है। वार्ड सात में एक बार पार्षद को निर्विरोध चुना जा चुका है, क्योंकि प्रतिद्वंद्वी के पास अवैध कब्जा होने की पुष्टि स्क्रूटनी के समय पर हुई थी। इस बार भी वार्ड में काफी गहमागहमी चुनाव परिणाम के अंत तक रही, लेकिन वार्ड नंबर सात में इस बार एक वोट से प्रत्याशी की जीत हुई है।

वार्ड सात से भाजपा समर्थित अरुण और कांग्रेस समर्थित गोविद के बीच सीधी टक्कर देखने को मिल रही थी। लेकिन चुनाव परिणाम एक वोट का रहेगा, इसे देखकर सब हैरान रह गए। जबकि एक वोट नोटा के खाते में गया अन्यथा इस बार भी एक वार्ड में टॉस की नौबत आ सकती थी। अरुण को 87 और गोविद को 88 मत मिले, जबकि एक मत नोटा में डाला गया।

यदि बीते समय की तरह वोटिग बैलेट पेपर से होती तो भी कई बार वोट दोबारा गिनने की नौबत आ सकती थी। जबकि भाजपा वार्ड सात से अपनी जीत सुनिश्चित करके चली हुई थी। बहरहाल नगर परिषद के वार्ड सात से गोविद अपनी एक वोट की जीत से काफी खुश हैं और वार्ड के विकास कार्यो के लिए मतदाताओं से काम करने का वायदा कर चुके हैं। 24 साल की मुस्कान रामपुर के वार्ड नौ की बनी पार्षद

संवाद सहयोगी, रामपुर बुशहर : नगर परिषद रामपुर में वैसे तो इस बार केवल एक चेहरे को छोड़कर अन्य सभी चेहरे नए हैं। इसमें से सात युवा चेहरे मतदाताओं की पसंद बने हैं। युवा चेहरों में वार्ड एक से प्रदीप, तीन से प्रीति, पांच से रोहिताश्वर, छह से कांता, सात से गोविद, आठ से अश्वनी और वार्ड नौ से मुस्कान नेगी युवा पार्षद बने हैं। लेकिन सबसे कम उम्र की पार्षद मुस्कान नेगी चुनी गई हैं, जोकि मात्र 24 वर्ष की हैं। वार्ड नौ अनुसूचित जनजाति महिला के लिए आरक्षित था और मुस्कान कांग्रेस समर्थित प्रत्याशी थीं। उन्होंने अपनी प्रतिद्वंद्वी को 125 मत से शिकस्त दी। कम उम्र में पार्षद बनने का लाभ अवश्य ही मुस्कान को मिल सकता है। यदि मतदाताओं की उम्मीदों में वह पूरी उतरती है तो आने वाले समय में वह दोबारा भी अपने वार्ड के लोगों की पसंद बन सकती हैं।

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