नए व युवा उद्यमियों के पांव मजबूत करने का प्रयास

जयराम सरकार ने चौथे बजट में युवा उद्यमियों के साथ नए निवेशकों

By JagranEdited By: Publish:Sat, 06 Mar 2021 06:56 PM (IST) Updated:Sat, 06 Mar 2021 06:56 PM (IST)
नए व युवा उद्यमियों के पांव मजबूत करने का प्रयास
नए व युवा उद्यमियों के पांव मजबूत करने का प्रयास

जागरण संवाददाता, शिमला : जयराम सरकार ने चौथे बजट में युवा उद्यमियों के साथ नए निवेशकों के पांव मजबूत करने की दिशा में कदम बढ़ाया है। उद्योग स्थापित करने के लिए सबसे बड़ी समस्या बजट की होती है। इसे दूर कर सरकार ने प्रोजेक्ट के लिए ऋण की राशि में बदलाव किए हैं। मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना के तहत अब एक करोड़ तक का लोन लिया जा सकता है। ऋण की राशि में फ्रंट लोडिंग की सुविधा मिलेगी, जो नए स्टार्टअप के लिए कारगर साबित होगी।

सरकार के सभी जिलों में लघु उद्योग स्थापित करने की नीति तैयार की है, जिसमें कुछ योजनाएं केंद्र सरकार ने शुरू की हैं। हालांकि प्रदेश में पहले से स्थापित उद्योगपतियों के लिए बजट में कुछ खास तोहफे नहीं मिले हैं, लेकिन नए उद्यमियों के लिए कई नए अवसर देखे जा रहे हैं। तीन हजार प्रोजेक्ट स्वीकृत

मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना के तहत अब तक तीन हजार से अधिक मामले बैंकों ने स्वीकृत किए हैं। इनके माध्यम से 10 हजार युवाओं को रोजगार के अवसर पैदा हुए हैं। इस योजना को अब ऑनलाइन किया गया है। इसके तहत अनुदान के 60 फीसद भाग की फ्रंट लोडिग का प्रविधान किया है। परियोजना लागत की सीमा 60 लाख रुपये थी, जिसे एक करोड़ कर दिया है। पात्र प्लांट व मशीनरी की सीमा, पर अनुदान को 40 लाख से बढ़ाकर 60 लाख रुपये कर दिया है। योजना को और विस्तार देने के लिए सरकार कमेटी बनाएगी व तीन माह के भीतर योजना के नए स्वरूप को लोकार्पित किया जाएगा। इस योजना के लिए 100 करोड़ रुपये के बजट का प्रविधान किया है। एक जिला, एक उत्पाद

आत्मनिर्भर भारत के तहत प्राइम मिनिस्टर फारमिलिसेशन ऑफ माइक्रो फूड प्रोसेसिग एंट्रप्राइसिस योजना शुरू की है, जिसका उद्देश्य खाद्य आधारित असंगठित क्षेत्र के सूक्ष्म उद्यमों को सहायता प्रदान कर संगठित क्षेत्र में लाना है। केंद्र सरकार के 'एक जिला, एक उत्पाद' कार्यक्रम के तहत सभी जिलों के लिए एक-एक उत्पाद स्वीकृत किया है। प्रदेश में खिलौना निर्माण कलस्टर स्थापित करने का प्रस्ताव रखा है। उद्योग विभाग तथा राज्य हथकरघा व हस्तशिल्प निगम के सहयोग से दो कलस्टर स्थापित किए जाएंगे। इसके लिए कांगड़ा स्थित भारतीय फैशन तकनीक संस्थान के विशेषज्ञों की सेवाएं ली जाएंगी। तीन बड़े प्रोजेक्ट बदलेंगे प्रदेश की तस्वीर

प्रदेश के उद्योगों की सुविधा के लिए केंद्र सरकार से तीन बडे़ प्रोजेक्ट हासिल करने में लगी है, जिससे रोजगार के साथ उद्योगों का कामकाज पटरी पर लौटेगा। जयराम ने कहा कि ऊना जिले में 1405 एकड़ भूमि पर 1190 करोड़ रुपये की बल्क ड्रग पार्क परियोजना शुरू होगी। इससे 8000 करोड़ रुपये का निवेश, 50 हजार करोड़ का टर्नओवर और 15 हजार लोगों को रोजगार मिलेगा। इसके साथ ही नालागढ़ में 265 एकड़ भूमि पर 261 करोड़ की लागत से बनने वाले मेडिकल डिवाइस पार्क की स्थापना होगी। इससे करीब तीन से पांच हजार करोड़ रुपये का निवेश, 20 हजार करोड़ का टर्न ओवर व 10 हजार लोगों को रोजगार का अवसर प्राप्त होगा। नालागढ़ में 100 एकड़ भूमि पर प्लास्टिक पार्क स्थापित होगा। नालागढ़ में 400 एकड़ भूमि पर इलेक्ट्रॉनिक्स मेन्यूफैक्चरिग हब और एक पावर इक्यूपमेंट मेन्युफैक्चरिग हब स्थापित करने की योजना भी है। आवागमन सुविधा बेहतर बनेगी

पिंजौर से नालागढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग की फोरलेनिग के लिए भू-अधिग्रहण के लिए 15 करोड़ रुपये की अतिरिक्त धनराशि उपलब्ध करवा दी है। इस क्षेत्र के विकास के लिए इसी वर्ष झाड़माजरी में बाल्द खड्ड पर बनने वाला पुल जनता को समर्पित कर दिया जाएगा। बीबीएन व अन्य औद्योगिक क्षेत्रों के विकास को गति देने तथा मूलभूत सुविधाएं प्रदान करने के लिए आधारभूत ढांचा विकास का विस्तृत मास्टर प्लान तैयार किया जाएगा। बीबीएन में उपलब्ध भूमि पर नई टाउनशिप विकसित करने के लिए निजी निवेश को आकर्षित किया जाएगा

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