शिवधाम में सबसे ऊंचा शिवलिग बनाने की योजना
कांगणीधार में 150 करोड़ से बन रहे शिवधाम में सबसे ऊंचा शिवलिग बनाने की योजना है।
जागरण संवाददाता, मंडी : कांगणीधार में 150 करोड़ से बन रहे शिवधाम में सबसे ऊंचा शिवलिग बनाने की योजना है। इसे चंडीगढ़-मनाली राष्ट्रीय राजमार्ग सहित दूर से देखा जा सकेगा। इसकी ऊंचाई अभी तक नहीं हो पाई है, लेकिन यहां बनने वाले ज्योतिर्लिगों से यह ऊंचा होगा। इसका डिजाइन तैयार किया जा रहा है।
मंडी के कांगणीधार में नौ हेक्टेयर में बन रहे शिवधाम के पहले चरण में कैलाशद्वार सहित छह ज्योतिर्लिगों के मंदिरों का निर्माण कार्य शुरू हो गया है। 40 करोड़ रुपये से पहले चरण के कार्य को सितंबर 2022 तक पूरा किया जाएगा। 27 फरवरी को इसका शिलान्यास मुख्यमंत्री ने किया था। पर्यटन विभाग के उपनिदेशक एसके पराशर ने बताया कि शिवधाम में प्रवेश के लिए कैलाश द्वार होगा। यहां श्रीगणेश मंडल के भी दर्शन होंगे, जिसमें भगवान गणेश की भव्य प्रतिमा स्थापित होगी। इसके अलावा गंगा कुंड, शिव वंदना के नाम से ओरिएंटेशन सेंटर होगा। भगवान शिव के डमरू के दर्शन और डमरू मंडल के पास खाने पीने की वस्तुएं भी मिलेंगी। मानसरोवर कुंड, मोक्ष पथ, बिल्वपत्र कुंड, शिवस्मृति म्यूजियम व एक बड़ा शिवलिग भी स्थापित होगा। एचपीटीडीसी के अधिशाषी अभियंता देवेंद्र ने बताया कि शिवधाम में बनने वाला शिवलिग मंदिरों से ऊंचा होगा। इसकी ऊंचाई के लिए डिजाइन तैयार किया जा रहा है।
इन ज्योतिर्लिगों का काम शुरू
शिवधाम में बनने वाले 12 ज्योतिर्लिगों में त्रियंबेकेश्वर, मल्लिकार्जुन, ओमकारेश्वर, सोमनाथ, नागेश्वर व रामेश्वर के मंदिर का काम शुरू हो गया है। इसके अलावा यहां हर्बल गार्डन, नक्षत्र वाटिका, थियेटर व पार्किग की सुविधा होगी। छोटी काशी में पर्यटन को बढ़ावा देने में शिवधाम अहम भूमिका निभाएगा। इस परियोजना से मंडी विश्व में धार्मिक व सांस्कृतिक पर्यटन मानचित्र पर मजबूती से उभरेगा।
-अरिदम चौधरी, उपायुक्त मंडी