चुनाव में याद आती है भुभु जोत टनल

मंडी जिले की चौहारघाटी और कुल्लू जिला की लगवैली को जोड़ने वाली भुभु जोत की याद चुनाव में आती है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 09 Oct 2021 05:24 PM (IST) Updated:Sat, 09 Oct 2021 05:24 PM (IST)
चुनाव में याद आती है भुभु जोत टनल
चुनाव में याद आती है भुभु जोत टनल

आशीष भोज, पद्धर

मंडी जिले की चौहारघाटी और कुल्लू जिला की लगवैली को जोड़ने वाली भुभु जोत टनल का निर्माण कार्य सालों से कागजों में बाहर नहीं निकल सका है। सामरिक दृष्टि से बेहद महत्वपूर्ण भुभु जोत टनल से पठानकोट-मंडी-मनाली मार्ग की दूरी 60 किलोमीटर कम होगी। चौहारघाटी के सिल्हबुधाणी के भुभु जोत से यह टनल कुल्लू जिला की लगवैली के तेलंग गांव में निकलेगी।

पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल के समय मे 2008 में पूर्व लोक निर्माण मंत्री गुलाब सिंह ठाकुर का भुभु जोत टनल ड्रीम प्रोजेक्ट था। 2012 में कांग्रेस सरकार के समय में ड्रीम प्रोजेक्ट के सर्वेक्षण के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण की टीम लगभग दो माह तक जुटी रही। 2014 के लोकसभा चुनाव में भुभु जोत टनल के नाम पर विभिन्न दलों ने राजनीतिक रोटियां सेंकी। पूर्व सांसद रामस्वरूप शर्मा ने लोकसभा पहुंचते ही टनल की मंजूरी का दिलासा दिलाया। लेकिन टनल कागजों तक ही सीमित रही। 2019 के चुनाव में टनल की डीपीआर तैयार करने की बात कहकर राजनीतिक रोटियां सेंकी गई लेकिन दो साल और बीत जाने बाद भी टनल निर्माण की फाइल बाहर नहीं निकल पाई। अब लोकसभा उपचुनाव में चौहारघाटी की चौदह पंचायतों के मतदाताओं ने दोनों पार्टी के प्रत्याशियों को घेरने का मन बनाया है।

चौहारघाटी के ग्रामीणों का कहना है कि टनल निर्माण से जहां मंडी और कुल्लू जिला के हजारों बेरोजगारों को रोजगार मिलेगा। सामरिक ²ष्टि से भी टनल ऐतिहासिक साबित होगी। सेना की रसद और अन्य सामग्री लेकर जा रहे भारी भरकम वाहनों को ट्रैफिक जाम की परेशानी से निजात मिलेगी। मंडी-कुल्लू के साथ साथ कांगड़ा, चंबा, लाहुल स्पीति जिले के लाखों लोग लाभान्वित होंगे।

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चुनावके समय में ही भुभु जोत टनल विभिन्न राजनीतिक दलों की जुबानी होती है। चुनाव होते ही टनल निर्माण की फाइल गुम हो जाती है। टनल निर्माण से 60 किलोमीटर की दूरी कम होगी। पर्यटन कारोबार को नए पंख लगेंगे।

-निशा ठाकुर, प्रधान, पंचायत सुधार।

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पूर्व सांसद राम स्वरूप शर्मा ने भुभु जोत टनल के नाम पर 2014 और 2019 में हुए लोकसभा चुनाव में चौहारघाटी की जनता से वोट मांगे थे। आज तक टनल निर्माण को लेकर कोई प्रयास नहीं किए गए। इस बार जनता हिसाब मांगेगी।

-गीता ठाकुर, प्रधान, पंचायत सिल्हबुधाणी।

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बेरोजगार युवक होटल व्यवसाय के लिए लेह, गोआ और मुंबई आदि शहरों में जाते हैं। भुभु जोत टनल बनने से यहां पर्यटन व्यवसाय को बढ़ावा मिलना था। बेरोजगारों को रोजगार सृजन होता। प्रत्याशियों से इस बारे सवाल जवाब किए जाएंगे।

चरण सिंह ठाकुर, होटल व्यवसायी।

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चुनाव में ही यह जिन्न बाहर निकलता है। इसके बाद प्रत्याशी वादे को भूल जाते हैं। चौहारघाटी में न तो पर्यटन को लेकर कुछ किया गया। न ही टनल का निर्माण कार्य शुरू हुआ।

-मान सिंह पगलानी, स्थानीय युवक।

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कांग्रेस सरकार के समय में सर्वेक्षण करवाया गया था। इसके बाद प्रदेश और केंद्र में भाजपा सरकार ने फाइल को ठंडे बस्ते में डाल दिया। सांसद बनते ही टनल निर्माण को मंजूरी दिलाने के लिए लड़ाई लड़ी जाएगी।

-कौल सिंह ठाकुर, पूर्व विधायक

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भुभु जोत टनल को लेकर प्रदेश सरकार पूरी तरह संवेदनशील है। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने केंद्रीय भूतल मंत्री नितिन गडकरी के कुल्लू दौरे दौरान भी मामला प्रमुखता से उठाया है। जल्दी ही डीपीआर तैयार कर टनल निर्माण कार्य शुरू किया जाएगा।

-जवाहर ठाकुर, विधायक द्रंग

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