मनाली में चार साल बाद नवंबर में बर्फबारी

पर्यटन नगरी मनाली में चार साल बाद नवंबर में बर्फबारी हुई है।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 15 Nov 2018 10:45 PM (IST) Updated:Thu, 15 Nov 2018 10:45 PM (IST)
मनाली में चार साल बाद नवंबर में बर्फबारी
मनाली में चार साल बाद नवंबर में बर्फबारी

जागरण संवाददाता, मनाली : पर्यटन नगरी मनाली में चार साल बाद नवंबर में बर्फबारी हुई है। इस साल समय से पहले ही सर्दियों का आगाज हो गया है। इससे पहले 2014 में नवंबर में बर्फबारी हुई थी। बुधवार रात माल रोड में बर्फ के फाहे देख सैलानी होटलों से बाहर निकल आए। रोहतांग दर्रे में भी ढाई फीट से अधिक हिमपात हुआ है। रोहतांग सहित लाहुल और मनाली की चोटियां बर्फ से लकदक हो गई हैं। लाहुल के जिला मुख्यालय केलंग में तीन इंच ताजा हिमपात हुआ है। कोकसर में 1 फीट, जबकि सिसु से गोंधला तक छह से आठ इंच बर्फबारी हुई है। रोहतांग के इस ओर राहनीनाला में सवा दो फीट, मढ़ी में पौने दो फीट, ब्यासनाला में डेढ़ फीट, राहलाफाल में डेढ़ फीट, गुलाबा व फातरू में सवा फीट, कोठी व सोलंगनाला में पौना फीट, पलचान, कुलंग, मझाच में आधा फीट, जबकि पर्यटन नगरी मनाली में ढाई इंच बर्फबारी हुई है।

ताजा बर्फबारी के बाद पलचान और सोलंगनाला सैलानियों का स्नो प्वाइंट बना हुआ है। मौसम साफ होते ही सैलानी पर्यटन स्थलों में उमड़ पड़े हैं और बर्फ में मस्ती कर रहे हैं।

रोहतांग दर्रा सर्दियों के लिए बंद हो गया है। बीआरओ इसे अब अगले साल ही बहाल करेगा। रोहतांग दर्रा बंद होने से लाहुल और कुल्लू में 300 से अधिक लोग फंस गए हैं। लाहुल-स्पीति के पूर्व विधायक रवि ठाकुर ने लाहुल-स्पीति प्रशासन से आग्रह किया कि विपदा को देखते हुए लाहुल और कुल्लू में फंसे लोगों को रोहतांग सुरंग से आने जाने की सुविधा दी जाए।

उपायुक्त लाहुल अश्वनी कुमार चौधरी ने बताया घाटी में फंसे लोगों को सुरंग से निकालने के लिए बीआरओ से आग्रह किया है। मुख्य सचिव हिमाचल प्रदेश को भी स्थिति से अवगत करवा दिया गया है।

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