उत्तराला-होली मार्ग : राज्य सरकार ने अब केंद्र को भेजा लैंड ट्रांसफर का मामला 14.49 हेक्टेयर भूमि होगी ट्रांसफर
कांगड़ा व चंबा जिला को नजदीक से जोड़ने के लिए बेहद महत्वपूर्ण उत्तराला-होली मार्ग के निर्माण की पहल आगे बढ़ने लगी है। प्रदेश सरकार ने इस बारे वन विभाग से जुड़ी अपनी औपचारिकताएं पूरी कर मामला केंद्र को भेज दिया है।
बैजनाथ, मुनीष दीक्षित। कांगड़ा व चंबा जिला को नजदीक से जोड़ने के लिए बेहद महत्वपूर्ण उत्तराला-होली मार्ग के निर्माण की पहल आगे बढ़ने लगी है। प्रदेश सरकार ने इस बारे वन विभाग से जुड़ी अपनी औपचारिकताएं पूरी कर मामला केंद्र को भेज दिया है।
इस मार्ग को बनाने की दिशा में सरकार का यह पहला कदम होगा। इससे अब उम्मीद बंधी है कि इस मार्ग के कार्य की तरफ कोई बड़ी पहल हुई हो। करीब दो दशक से उत्तराला-होली मार्ग के निर्माण का मामला उठता आया है। मगर आज तक वन विभाग की भूमि को लोक निर्माण विभाग के नाम करने की दिशा में कोई पहल ही नहीं हुई थी। वर्ष 2017 में मौजूदा विधायक मुल्ख राज प्रेमी ने इस मामले को बैजनाथ पहुंचे मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के समक्ष रखा। इसके बाद इस मार्ग को बनाने की तरफ फिर से सरकार व विभाग ने कदम बढाए। यदि यह मार्ग बनता है तो उत्तराला से होली की दूरी करीब 65 किलोमीटर दूर रह जाएगी। मौजूदा समय में बैजनाथ से होली की तरफ जाने के लिए लोगों को पठानकोट-नूरपुर होते हुए वाया चंबा से होकर एक बड़ा सफर तय करना पड़ता है।
इस मार्ग के बीच में करीब 23 किलोमीटर का क्षेत्र वन विभाग के अधीन आता है। इसमें सुराही पास के बकलूड तक के क्षेत्र में 14.4902 हेक्टेयर भूमि वन विभाग की है। इस भूमि को लोक निर्माण विभाग को हस्तांतरण करने की प्रक्रिया अब शुरू हुई है। पहली जनवरी को इस संदर्भ में एक रिपोर्ट बनाकर चीफ कंजरवेटर ऑफ फॉरेस्ट हिमाचल प्रदेश ने डिप्टी डॉयरेक्टर जनरल ऑफ फॉरेस्ट सेंट्रल को भेजा है। इसकी स्वीकृति मिलते ही लोक निर्माण विभाग यहां निर्माण कार्य की पहल आगे बढ़ा सकता है।
बैजनाथ के विधायक मुल्खराज प्रेमी ने बताया कि हम इस मार्ग को लेकर गंभीर हैं। पहले इस दिशा में कुछ नहीं हुआ था। दो साल से लगातार लोक निर्माण विभाग व वन विभाग इसके लिए काम कर रहा है। इसी माह भूमि ट्रांसफर का मामला वन विभाग ने आगे भेजा है। इसकी स्वीकृति मिलने के बाद ही उत्तराला-होली मार्ग के निर्माण के लिए पहली सफलता होगी।