सोलन के युवा ने उगाई एक लाख रुपये प्रतिकिलो बिकने वाली यह खास मशरूम, गंभीर रोगों से लड़ने में कारगर
Cordyceps Mushroom Business मशरूम सिटी सोलन के युवा निशांत गाजटा ने लाखों रुपये में बिकने वाली कोर्डिसेप्स मशरूम उगा दी। कड़ी मेहनत से निशांत ने सोलन के कोटलानाला में स्थापित अपनी निजी लैब में इस मशरूम को उगाने में सफलता हासिल की है।
सोलन, संवाद सहयोगी। Mushroom Business, कोरोनाकाल में काम धंधे बंद हो गए तो मशरूम सिटी सोलन के युवा निशांत गाजटा ने लाखों रुपये में बिकने वाली कोर्डिसेप्स मशरूम उगा दी। कड़ी मेहनत से निशांत ने सोलन के कोटलानाला में स्थापित अपनी निजी लैब में इस मशरूम को उगाने में सफलता हासिल की है। चंबाघाट स्थित खुंब अनुसंधान निदेशालय ने तीन वर्ष पूर्व इस मशरूम को उगाने की तकनीक विकसित की थी। निदेशालय के अनुसार देश में करीब 100 लोग ही इसका उत्पादन कर रहे हैं, लेकिन निशांत ने इसे स्वयं की लैब में तैयार कर मिसाल पेश की है।
निशांत का कहना है कि बीटेक करने के बाद वह चंडीगढ़ में नौकरी करता था। कोरोना संकट में नौकरी छूटी तो उसने घर आकर कोर्डिसेप्स मशरूम उगाने की सोची। अभी उसकी लैब में करीब 15 से 18 किलोग्राम मशरूम तैयार होने वाली है। लैब में हर 15 दिन बाद दो किलो मशरूम तैयार होती है। उनका कहना है कि बाजार में कोर्डिसेप्स मशरूम की कीमत एक लाख रुपये किलो तक है। निशांत ने बताया कि उसने कोर्डिसेप्स मशरूम उगाने के लिए चंडीगढ़ से प्रशिक्षण प्राप्त किया व इसको उगाने की सामग्री भी बाहर से ही मंगवाई। उनका कहना है कि सोलन स्थित खुंब अनुसंधान निदेशालय ने मदद करने से मना कर दिया था।
क्या है इस मशरूम के गुण
कोर्डिसेप्स मिलिटेरिस एक प्राकृतिक तौर पर उगने वाली जंगली मशरूम है। इसके औषधीय गुणों के कारण यह बहुत लाभकारी मानी जाती है। विज्ञानियों के मुताबिक यह मशरूम मनुष्य के शरीर में रोगों से लडऩे की ताकत को बढ़ाती है। इसके साथ ही थकान मिटाने में भी यह कारगर है। इस मशरूम में एंटी आक्सीडेंट, एंटी डायबिटिक, सूजन रोधी, कैंसर रोधी, मलेरिया रोधी, थकान रोधी, एचआइवी रोधी और एंटी वायरल गुण होते हैं। सेहत के लिए बेहद गुणकारी यह मशरूम शरीर में ट्यूमर के आकार को कम करने में मदद भी करती है।
क्या कहते हैं विशेषज्ञ
खुंब अनुसंधान निदेशालय सोलन के निदेशक वीपी शर्मा ने बताया कि देश के कई उत्पादक इसको उगाने का प्रशिक्षण प्राप्त कर चुके हैं। इस मशरूम को ब्राउन राइस पर न्यूट्रीएंट डालकर उगाया जाता है। उन्होंने बताया कि इसको उगाने के संबंध में निदेशालय ने कई वीडियो भी यूट्यूब पर अपलोड किए हैं। निदेशालय में प्रशिक्षण कार्यक्रम भी आयोजित किया जाएगा।