पर्यटकों के दीदार के लिए सौरभ वन विहार तैयार

कुलदीप राणा पालमपुर कारगिल युद्ध के पहले बलिदानी कैप्टन सौरभ कालिया को समर्पित वन विहार

By JagranEdited By: Publish:Mon, 29 Nov 2021 03:20 AM (IST) Updated:Mon, 29 Nov 2021 03:20 AM (IST)
पर्यटकों के दीदार के लिए सौरभ वन विहार तैयार
पर्यटकों के दीदार के लिए सौरभ वन विहार तैयार

कुलदीप राणा, पालमपुर

कारगिल युद्ध के पहले बलिदानी कैप्टन सौरभ कालिया को समर्पित वन विहार पर्यटकों के दीदार के लिए तैयार कर लिया गया है। वन विभाग की ओर से इसके लिए विभिन्न विभागों का सहयोग लिया गया है। प्राकृतिक परिवेश में स्थापित इस स्मारक को और आकर्षक बनाने के लिए बाढ़ में आए पत्थरों को व्यवस्थित कर सही उपयोग में लाया जाएगा।

सौरभ वन विहार समिति ने सुविधाओं में इजाफा करने के साथ ही यहां युद्ध स्मारक के रूप में वार ट्राफी टैंक स्थापित करने का निर्णय लिया है। दिसंबर में इसे स्थापित किया जाएगा। यह टैंक सेना छावनी होल्टा पहुंच चुका है। पार्किंग के साथ उचित स्थान का चयन कर इसे चबूतरे में स्थापित किया जाएगा। छावनी के अधिकारी शीघ्र स्थल का निरीक्षण करेंगे। बलिदानी कैप्टन सौरभ कालिया की माता विजय कालिया के आग्रह पर इस स्मारक की स्थापना का निर्णय लिया है।

अगस्त 2018 व 2019 में लगातार दो वर्ष न्यूगल खड्ड की बाढ़ ने इसे तहस-नहस कर दिया था। वन विहार के चारों ओर रेत, बजरी व पत्थर भर गए थे। दूसरी बार बाढ़ से हुए नुकसान का आकलन करने पहुंचे तत्कालीन वन मंत्री ने इसे सुरक्षित जगह शिफ्ट करने के निर्देश विभाग को दिए थे। बंदला गांव के समीप न्यूगल खड्ड के बीच स्थापित सौरभ वन विहार को लेकर शुरुआती दौर में ही बाढ़ की आशंका के कारण विरोध होता रहा, लेकिन शांता कुमार ने इसे ड्रीम प्रोजेक्ट के तहत स्थापित कर विरोधियों के मुंह बंद कर दिए थे। लोगों की आशंका 2018 व 2019 की बरसात में सच साबित हुई। शांता कुमार से फिर रुचि लेते हुए इसके जीर्णोद्धार के लिए केंद्र सरकार का सहयोग लिया। दो वर्ष के लंबे संघर्ष के बाद इसे फिर तैयार कर लिया है। वर्तमान में सौरभ वन विहार में पर्यटकों के आकर्षण के लिए कृत्रिम झील में नौकायान, राक गार्डन, कैफेटेरिया व चिल्ड्रन पार्क को दोबारा आरंभ कर दिया है। बाढ़ का पानी दोबारा प्रवेश न करे, इसके लिए जल शक्ति विभाग के माध्यम से रिटेनिग वाल का कार्य लगभग पूरा कर लिया है। इस कार्य पर करीब छह करोड़ रुपये की लागत आई है। वन विहार को जाने वाले क्षतिग्रस्त रास्ते को भी ठीक कर दिया है।

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पहले से अधिक सुविधाएं मुहैया करवाने का निर्णय शांता कुमार के साथ हुई बैठक में लिया गया है। हर्बल गार्डन, विभिन्न तरह के फूल व मुख्य द्वार को संवारने के कार्य शीघ्र पूरे कर लिए जाएंगे। पर्यटकों के लिए आकर्षण बनाने में आर्थिकी बाधा नहीं बनेगी।

-डा. नितिन पाटिल, डीएफओ पालमपुर।

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बाढ़ के कारण स्मारक को क्षति पहुंची थी। यह अपनी तरह का अनूठा स्मारक है। यह बलिदानी को समर्पित है और पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र भी है। स्मारक को विभिन्न विभागों के सहयोग से और आकर्षित बनाया जा रहा है।

-शांता कुमार, पूर्व मुख्यमंत्री

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