मौसम में बदलाव की मिलेगी सटीक जानकारी

संवाद सहयोगी धर्मशाला कांगड़ा जिले में अब मौसम में होने वाले बदलाव की सटीक जानकारी मिलेगी। जिला प्रशासन ने प्रारंभिक चरण में अवेरी बीड़ खास द्रुग नपोहता कोहर खास करर्नाथू व डंडेल में मौसम पूर्वानुमान केंद्र स्थापित किए हैं। मंगलवार को डीसी कांगड़ा डा. निपुण जिदल ने इनका शुभारंभ किया।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 10 Nov 2021 03:00 AM (IST) Updated:Wed, 10 Nov 2021 03:00 AM (IST)
मौसम में बदलाव की मिलेगी सटीक जानकारी
मौसम में बदलाव की मिलेगी सटीक जानकारी

संवाद सहयोगी, धर्मशाला : कांगड़ा जिले में अब मौसम में होने वाले बदलाव की सटीक जानकारी मिलेगी। जिला प्रशासन ने प्रारंभिक चरण में अवेरी, बीड़ खास, द्रुग, नपोहता, कोहर खास, करर्नाथू व डंडेल में मौसम पूर्वानुमान केंद्र स्थापित किए हैं। मंगलवार को डीसी कांगड़ा डा. निपुण जिदल ने इनका शुभारंभ किया।

अगले चरण में मौसम की दृष्टि से संवेदनशील क्षेत्रों में भी मौसम पूर्वानुमान केंद्र स्थापित किए जाएंगे। इस संबंध में पंचायत प्रतिनिधियों को जानकारी देने के लिए डीसी कार्यालय के सभागार में कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस दौरान डीसी ने कहा कि आपदा प्रबंधन में ये मौसम पूर्वानुमान केंद्र कारगर साबित होंगे। इससे पहले प्रज्ञा संस्था के प्रबंधक नीलेश एक्का ने बताया कि ये मशीनें बैटरी से भी चल सकती हैं। कार्यशाला में एडीएम कांगड़ा रोहित राठौर, डीएसपी बलदेव ठाकुर, जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के प्रभारी भानु सहित विभिन्न पंचायतों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। केंद्रों की कार्यक्षमता सात से आठ किलोमीटर तक होगी।

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बारिश व बर्फबारी भी होगी रिकार्ड

पालमपुर और बैजनाथ उपमंडलों में स्थापित किए मौसम पूर्वानुमान केंद्रों में तापमान के साथ-साथ बारिश व बर्फबारी भी रिकार्ड होगी। इसकी जानकारी स्वत: ही प्रशासन व पंचायत प्रतिनिधियों तक पहुंच जाएगी। प्रशासन ने इन केंद्रों में पंचायत प्रतिनिधियों के मोबाइल फोन नंबर भी लिंक किए हैं।

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इसलिए किया पालमपुर व बैजनाथ का चयन

जिला प्रशासन ने पालमपुर व बैजनाथ उपमंडलों को इसलिए चुना है, क्योंकि ये धौलाधार की पहाड़ियों के साथ सटे हुए हैं। पहले चरण में स्थापित मौसम पूर्वानुमान केंद्रों का अध्ययन प्रशासन करेगा और उसके बाद जिले के अन्य स्थानों का भी चयन किया जाएगा।

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अब मूसलधार बारिश, आंधी व तूफान के बारे में सूचना जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के साथ-साथ संबंधित पंचायत प्रतिनिधियों तक भी पहुंचेगी। पूर्वानुमान के आधार पर ही आपदा प्रबंधन की तैयारियों में मदद मिलेगी। अगले चरण में अन्य संवेदनशील क्षेत्रों में भी स्वचालित मौसम पूर्वानुमान केंद्र स्थापित किए जाएंगे।

-डा. निपुण जिंदल, उपायुक्त कांगड़ा

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