कोविड की तीसरी लहर से निपटने की तैयारी, यहां शिशु वार्ड के 60 बिस्तरों में होगी ऑक्सीजन सप्लाई
Covid Third Wave कोरोना की तीसरी लहर की संभावना को देखते हुए ऑक्सीजन की व्यापक व्यवस्था प्रशासन कर रहा है। मेडिकल कॉलेज नेरचौक में जहां बच्चों के वार्ड के 60 बिस्तर ऑक्सीजन प्लांट से जुड़ेंगे। साथ ही एक तरल ऑक्सीजन के टैंक सहित पीएसए प्लांट यहां प्रस्तावित है।
मंडी, जागरण संवाददाता। Covid Third Wave, कोरोना की तीसरी लहर की संभावना को देखते हुए ऑक्सीजन की व्यापक व्यवस्था प्रशासन कर रहा है। मेडिकल कॉलेज नेरचौक में जहां बच्चों के वार्ड के 60 बिस्तर ऑक्सीजन प्लांट से जुड़ेंगे। साथ ही एक तरल ऑक्सीजन के टैंक सहित पीएसए (प्रैशर स्विंग एडसारेपशन) प्लांट यहां प्रस्तावित है। इसके अलावा पांच सिविल अस्पतालों में यह प्लांट लगने हैं। कोरोना की दूसरी लहर में एकाएक बड़ी आक्सीजन की मांग बढ़ गई। जिस निजी गैस एजेंसी से इसकी सप्लाई होती है वहां से रोजाना 900 के करीब सिलेंडर नेरचौक, मेक शिफ्ट खलियार, बीबीएमबी, रत्ती में जाते थे। इसमें 250 से अधिक सिलेंडर नेरचौक मेडिकल कॉलेज के थे।
इसी बात को ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार की ओर से घोषित पांच पीएसए प्लांट क्षेत्रीय अस्पताल मंडी, सरकाघाट, जोगेंदन्रगर, करसोग, जंजैहली में लगाए जा रहे है। मंडी में 15 अगस्त तक इसे शुरू कर दिया जाएगा। इसे एमसीएच और क्षेत्रीय अस्पताल जुड़ेगा। अन्य चार अस्पतालों में होने वाली 50-50 बिस्तरों की व्यवस्था में भी इन्हीं प्लांट से ऑक्सीजन जाएगी।
मेडिकल कॉलेज में भी मेक शिफ्ट अस्पताल के लिए पीएसए ऑक्सीजन प्लांट के लिए प्रस्ताव भेजा गया है। इसके अलावा मेडिकल कॉलेज में एक तरल ऑक्सीजन का टैंक भी लगेगा। साथ ही मेडिसिनन वार्ड के 120 बिस्तर में से 60 आक्सीजन से जुड़ेंगे।
रेमडेसिविर के 2506 से अधिक डोज मौजूद
जिला में रेमडेसिविर दवा के 2506 से अधिक डोज मौजूद है। स्वास्थ्य विभाग के पास जून में माह में इसका आंकड़ा लिया गया था। इसके बाद इसका प्रयोग भी जिला में मरीजों के ऊपर बहुत कम मामलों में किया गया है।
क्या कहते हैं सीएमओ
मुख्य चिकित्सा अधिकारी मंडी डाक्टर देवेंद्र शर्मा का कहना है जिला में चार नए ऑक्सीजन प्लांट सहित नेरचौक मेडिकल कालेज में भी नई व्यवस्था की जा रही है। मेक शिफ्ट अस्पतालों में भी सिलेंडरों की क्षमता बढ़ाएंगे। ऑक्सीजन की कमी पहले भी नहीं थी और आगे भी नहीं होगी।