पतलीकूहल में बिल अदा करने के बावजूद चार महीने का बिल 48 हजार रुपये आने से उपभोक्‍ता परेशान

पतलीकूहल में उपभोक्‍ता के चार महीने का पानी का बिल 48734 रुपये आया है जबकि उपभोक्‍ता ने बकायदा बिल जमा करवाया था। कटराईं उपमंडल के जलशक्ति विभाग के इस कारनामें से उपभोक्ता परेशान हैं।बिल पर नई मीटर रिडिंग दिखाई गई है लेकिन पुरानी मीटर रिडिंग का कॉलम खाली है।

By Richa RanaEdited By: Publish:Wed, 16 Jun 2021 05:31 PM (IST) Updated:Wed, 16 Jun 2021 05:31 PM (IST)
पतलीकूहल में बिल अदा करने के बावजूद चार महीने का बिल 48 हजार रुपये आने से उपभोक्‍ता परेशान
पतलीकूहल में उपभोक्‍ता के चार महीने का पानी का बिल 48,734 रुपये आया है।

पतलीकूहल, जेएनएन। पतलीकूहल में उपभोक्‍ता के चार महीने का पानी का बिल 48,734 रुपये आया है, जबकि उपभोक्‍ता ने बकायदा बिल जमा करवाया था। कटराईं उपमंडल के जलशक्ति विभाग के इस कारनामें से उपभोक्ता परेशान हैं। हांलाकि बिल पर नई मीटर रिडिंग दिखाई गई है लेकिन पुरानी मीटर रिडिंग का कॉलम खाली है। कटराईं स्वरूप लाल उपाध्याय को जल विभाग ने 48, 734 रूपये का पानी का चार महीने के बिल दिया तो वह भौचक्के रह गये। क्योंकि दिसंबर 2020 तक वह नियमित रूप से अपना पानी का बिल भरते रहें हैं।

हांलाकि दिसंबर महीने के पानी का बिल करने की रिसीद उनके पास है लेकिन जनवरी से मई 2021 तक का पानी का बिल 48 हजार से अधिक आया तो दंग रह गए। वहीं पर गांव बशकोला के निवासी कुंजन बौध को भी अप्रैल 2021 तक का पानी का बिल 26,763 थमा दिया है। जब उपभोक्ता ने जल शक्ति विभाग के कार्यालय में रजिस्टर में एंट्री देखी तो 20 सिंतबर 2020 को उन्होंने 2700 रुपये बिल के अदा किए हैं। लेकिन सात महीने में 26 हजार रूपये से अधिक पानी का बिल आने से हैरान रह गए। कटराईं के अजय शर्मा ने बताया कि उनका पानी का मीटर उनके पिता के नाम स्वर्गीय हरवंस शर्मा के नाम है जिनका पानी का बिल भी 27381 रूपये आया है जबकि दिसंबर 2020 तक पानी के बिल की अदायगी की जा चुकी है।

कटराईं उपमंडल में जैसे जैसे लोगों को पानी के बिल मिल रहें वैसे वैसे कई उपभोक्ताओं को इसी तरह के बिल आ रहें हैं। कुंजन बौध ने बताया कि जब उन्होंने जल शक्ति विभाग के कार्यालय में जाक अपना रिकार्ड खंगाल तो वहां पर पूरानी रिडिंग विभाग के रजिस्टर में कहीं भी अंकित नहीं थी। जल शक्ति विभाग से पूछताछ करने पर उन्हें बताया कि विभागीय गलती जो पिछले कई वर्षों से मीटर रिडिंग नहीं लेने और सरकारी दस्तावेज को दुरूस्त न रखने की वजह से हुई है। उन्होंने कहा कि सरकारी दस्तावेज को सही रखने का कार्य विभाग का है उसके लिए आम जनता से हजारों के पानी के बिल की भरपाई क्यों की जा रही है।

उपभोक्ताओं ने प्रदेश सरकार व जनशक्ति विभाग से आग्रह किया है कि वह इस मामले को नेगोशियट करें विभाग की लापरवाही का खामीयाजा आप जनता क्यों उठाये। उन्होंने जिला प्रशासन से आग्रह किया है कि पानी के बिलों में की जा धांधली का उा स्तर पर कार्यवाही की जाए ताकि आम जनता को परेशानी न हो। कोरोना काल के चलते जहां लोगों की हालत नाजुक बनी है वहीं पर पानी के बिल हजारों में आने से लोग सकते में हैं। लोगों का कहना है कि जब विभाग का अपना रिकार्ड ही सही नहीं है तो उसकी अदायगी उपभोक्ताओं पर क्यों थोपी जा रही है।

उधर जलशक्ति विभाग उपमंडल कटराईं के सहायक अभियंता अंलकृत प्रकाश ने कहा कि कोरोना काल के चलते मार्च 2020 से उपभोक्ताओं को बिल नहीं दिए गये थे। लेकिन अब हर महीने पानी के बिल रिडिंग के हिसाब आया करेगा। उन्होंने कहा कि जिन उपभोक्तओं के बिल अधिक हैं वह किश्तों में बिल की अदायगी कर सकते हैं।

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