बुठवीं की महिलाओं ने डेयरी फार्मिग से सुधारी आर्थिकी

समाज में महिलाओं को गृहमंत्री की संज्ञा दी जाती है। अगर ग्रामीण महिला

By JagranEdited By: Publish:Sun, 04 Apr 2021 04:40 PM (IST) Updated:Sun, 04 Apr 2021 04:40 PM (IST)
बुठवीं की महिलाओं ने डेयरी फार्मिग से सुधारी आर्थिकी
बुठवीं की महिलाओं ने डेयरी फार्मिग से सुधारी आर्थिकी

संवाद सहयोगी, जाहू : समाज में महिलाओं को 'गृहमंत्री' की संज्ञा दी जाती है। अगर ग्रामीण महिलाएं आजीविका के साधनों से जुड़ जाएं तो कई घरों की आर्थिकी मजबूत होती हैं। ऐसा ही कार्य हमीरपुर जिला के भोरंज उपमंडल की करहा पंचायत के बुठवीं गांव की महिलाओं ने करके दिखाया है। साई स्वयं सहायता समूह का गठन करके व डेयरी फार्मिग शुरू की। इससे गांव के करीब 12 घरों की आर्थिक स्थिति में काफी सुधार हुआ है।

वर्ष 2019 में बुठवीं की महिलाओं ने दूसरे गांव के स्वयं सहायता समूहों को देखकर अपने गांव की महिलाओं की बैठक बुलाई। इस बैठक में स्वयं सहायता समूह गठित करने के लिए चर्चा की गई। एक महीने के बाद दूसरी बैठक बुलाई गई जिसमें महिलाओं ने बढ़ी संख्या में भाग लिया और साई सहायता स्वयं सहायता समूह का गठन किया। समूह में शामिल महिलाएं शिक्षित होने के कारण सरकार से मिलने वाले लाभों के बारे में प्रशासन से जानकारी हासिल की और समूह को बैंक से लिक करवाया। वर्तमान में साई स्वयं सहायता समूह में 12 महिलाएं शामिल हैं। सभी महिलाओं ने पशुपालन को मुख्य व्यवसाय बनाने के लिए घरों में गाय-भैंस रखी है और दूध बेच कर परिवार की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने में लगी हुई हैं। समूह के सदस्य हर रोज 90 से 100 लीटर दूध बेचकर प्रतिदिन 6000 रुपये कमा रही है। समूह को एक माह में डेढ़ से दो लाख रुपये की आमदनी हो रही है। इससे बुठवीं गांव के 12 महिलाएं आत्मनिर्भर बन गई हैं और परिवार का खर्चा चला रही हैं।

-----------------

सस्ती दरों पर दिया जाता है उधार

साई स्वयं सहायता समूह बुठवीं की प्रधान कश्मीरा देवी का कहना है कि दूध की मांग काफी है। स्थानीय बाजारों में दूध बेचा जा रहा है। समूह के संचालन के लिए प्रशासन की ओर से काफी मदद मिली है। अगर किसी सदस्य को पैसों की जरूरत पड़ती है तो सस्ती ब्याज दर पर रुपये उधार पर दिए जाते हैं। डेयरी फार्मिंग को और बढ़ावा दिया जाएगा।

-------------------- आत्मनिर्भर बनने के लिए महिलाओं को अधिक से अधिक स्वयं सहायता समूहों का गठन करना चाहिए। बुठवीं स्वयं सहायता समूह अगर डेयरी फार्मिंग कर रहा है तो ये बहुत अच्छा कार्य है। सरकार व प्रशासन महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए लगातार जागरूक कर रहा है।

-राकेश शर्मा, एसडीएम भोरंज

chat bot
आपका साथी