मेडिकल कॉलेज चंबा में शुरू हुए कल्चर

मेडिकल कॉलेज चंबा में आखिरकार लंबे समय के बाद कल्चर के टेस्ट शुरू हो गए हैं।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 17 Jan 2021 05:33 AM (IST) Updated:Sun, 17 Jan 2021 05:33 AM (IST)
मेडिकल कॉलेज चंबा में शुरू हुए कल्चर
मेडिकल कॉलेज चंबा में शुरू हुए कल्चर

जागरण संवाददाता, चंबा : मेडिकल कॉलेज चंबा में आखिरकार लंबे समय के बाद कल्चर (विशेष जांच) शुरू हो गई है। इसके शुरू होने से अब चंबा की जनता को स्वास्थ्य संबंधी विशेष जांच करवाने के लिए टांडा या आइजीएमसी शिमला नहीं जाना पड़ेगा। मेडिकल कॉलेज चंबा में करीब छह माह पहले माइक्रोबायोलॉजी विभाग में उपकरण तो स्थापित कर दिए गए थे मगर स्टाफ की ड्यूटी कोविड-19 में लगने से कल्चर आरंभ नहीं हो पाया था।

चंबा मेडिकल जिला में मरीजों को कल्चर की सुविधा न मिलने के कारण टांडा या आइजीएमसी शिमला का रुख करना पड़ता था। अगर मरीज चंबा की निजी लैब में कल्चर करवाते भी थे तो रिपोर्ट के लिए सात से दस दिन का इंतजार करना पड़ता था । मेडिकल कॉलेज चंबा में रोजाना एक हजार से अधिक मरीज स्वास्थ्य जांच करवाने के लिए आते हैं। इनमें से 20 से 30 फीसद मरीजों की हालत देखकर चिकित्सक कल्चर करवाने की सलाह देते हैं।

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किस लिए होता है कल्चर

किसी भी तरह के वायरल या बैक्टीरियल बीमारी जिसमें इस बात का पता न चल पाए कि किस वायरस, बैक्टीरियल, फंगस जैसे सूक्ष्म किटाणुओं के कारण व्यक्ति रोग ग्रस्त हुआ, जानने के लिए डाक्टर कल्चर करवाने की सलाह देते हैं। इससे कौन सी दवा रोग के विरुद्ध काम करेगी, इसकी जानकारी मिलती है। यूरिन टेस्ट इंफेक्शन, निमोनिया, मेनिनजाइटिस, टीबी आदि रोगों में इस विशेष जांच को करवाने की सलाह दी जाती है। इसके अलावा जिन्हें पेशाब करते समय जलन, पेट के निचले हिस्से में दर्द, गले का इंफेक्शन, प्रोस्टेट व किडनी से जुड़ी समस्या वाले मरीज, गर्भवती महिलाएं, कमजोर रोग प्रतिरोधक क्षमता वाले मरीजों में रोग के सही कारण को जानने के लिए यह विशेष जांच करवाई जाती है।

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चंबा में नहीं होती थी ये विशेष जांच

बल्ड कल्चर, यूरिन कल्चर, पस कल्चर, सटूल रूटीन एंड कल्चर, सीएसएफ, थ्रोड स्वेव, एएसओ सहित फंगस कल्चर हीं होने से मरीजों को अपनी जेब ढीली करके निजी लैब का रुख करना पड़ता था।

------ मेडिकल कॉलेज में सभी प्रकार के कल्चर शुरू हो गए हैं। लैब तकनीशियनों की ड्यूटी कोविड-19 में कोरोना टेस्ट करने के लिए लगी थी। इस कारण यह विशेष जांच दूरी से शुरू हो पाई है। अब चंबा के लोगों को मेडिकल कॉलेज में ही कल्चर की सुविधा मिल जाएगी।

-डा. श्रीधर, अध्यक्ष माइक्रोबायोलॉजी विभाग। ---

चंबा मेडिकल कॉलेज में कल्चर शुरू कर दिए हैं। रिपोर्ट भी चंबा में ही तैयार होगी। चंबा के लोगों को अब जिला से बाहर नहीं जाना पड़ेगा।

डा. रमेश भारती, प्रिंसिपल मेडिकल कॉलेज चंबा।

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