छात्रों की जान को खतरे में न डाले सरकार

प्रदेश में कालेज छात्रों की आफलाइन परीक्षाओं के विरोध में एनएसयूआइ व युकां ने संयुक्त रूप से दो दिवसीय क्रमिक भूख हड़ताल शुरू की।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 07 Jul 2021 07:57 PM (IST) Updated:Wed, 07 Jul 2021 07:57 PM (IST)
छात्रों की जान को खतरे में न डाले सरकार
छात्रों की जान को खतरे में न डाले सरकार

संवाद सहयोगी, भरमौर : प्रदेश में कालेज छात्रों की आफलाइन परीक्षाओं के विरोध में एनएसयूआइ व युकां ने संयुक्त रूप से दो दिवसीय क्रमिक भूख हड़ताल शुरू की। हड़ताल के दूसरे दिन युकां अध्यक्ष श्याम सिंह ठाकुर व एनएसयूआइ प्रदेश उपाध्यक्ष अविनाश शर्मा ने एसडीएम भरमौर को कालेज छात्रों की समस्या का समाधान करने को लेकर ज्ञापन सौंपकर हड़ताल समाप्त कर दी।

श्याम ठाकुर ने कहा कि कालेज छात्रों को कोरोना संक्रमण के खतरे में डालकर सरकार जो आफलाइन परीक्षा करवा रही है, उसे बंद किया जाए व आनलाइन परीक्षा के विकल्प को चुना जाए। यह विरोध की मात्र सांकेतिक हड़ताल थी, जोकि दो दिन चली है। इसमें प्रदेश, जिला व खंड स्तरीय छात्र व युकां नेताओं ने अपनी सहभागिता दर्ज करवाई है।

दो दिन में करीब 30 युकां कार्यकर्ताओं ने हड़ताल में अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई। युकां कोविड नियमों के कारण अभी साधारण तरीके से विरोध जता रही है। सरकार ने यदि उनकी मांगों को गंभीरता से नहीं लिया तो युकां छात्र हितों के लिए बड़े स्तर पर विरोध का मार्ग अपनाएगी। इस अवसर पर एनएसयूआइ के प्रदेश उपाध्यक्ष अविनाश शर्मा ने कहा कि सरकार अपनी नाकामी को छुपाने के लिए छात्रों की जान जोखिम में डालकर यह दिखाने की कोशिश कर रही है कि सरकार ने कोविड पर नियंत्रण पा लिया है, जिस कारण छात्रों की परीक्षाएं आफलाइन करवाई जा रही हैं।

अभी भी हर रोज हर जिला से कोविड पाजिटिव के मामले सामने आ रहे हैं। ऐसे में आफलाइन परीक्षा छात्रों के लिए जोखिम भरी है। सरकार ने एनएसयूआइ व युकां की मांग को अपनी शान के खिलाफ मानकर इसे न मानने की भूल कर रही है। अविनाश शर्मा ने कहा कि छात्रों के स्वास्थ्य के साथ लिया जा रहा यह जोखिम सरकार को भारी पड़ेगा।

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