यमुना में पोकलेन मशीन से हो रहा अवैध खनन, रेत का स्टॉक भी नदी के अंदर

खनन के कार्याें में धड़ल्ले से नियम टूट रहे हैं लेकिन किसी भी विभाग के अधिकारी लापरवाह हैं।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 18 May 2021 07:34 AM (IST) Updated:Tue, 18 May 2021 07:34 AM (IST)
यमुना में पोकलेन मशीन से हो रहा अवैध खनन, रेत का स्टॉक भी नदी के अंदर
यमुना में पोकलेन मशीन से हो रहा अवैध खनन, रेत का स्टॉक भी नदी के अंदर

संवाद सहयोगी, रादौर: खनन के कार्याें में धड़ल्ले से नियम टूट रहे हैं, लेकिन किसी भी विभाग को नियम टूटते दिख नहीं रहे। खनन एजेंसियों के हौसले इतने बुलंद है कि अब वह यमुना नदी के बीचोबीच ही रेत को स्टॉक करने लगे हैं, जो नियमो के विपरीत है। जिस पर सिचाई विभाग भी कार्रवाई कर सकता है और खनन विभाग भी। लेकिन अभी तक ऐसा नहीं हुआ। मामला गुमथला घाट का है। जहां लगातार पोकलेन मशीनें खनन करने में जुटी हैं और वहीं पर स्टॉक भी किया जा रहा है।

नियम के अनुसार यमुना नदी के बहाव में बाधा नहीं पहुंचाई जा सकती। जिसको लेकर एनजीटी सख्त है। कई बार सख्त कार्रवाई भी हुई। सिचाई विभाग को इस पर कार्रवाई करनी होती है। गुमथला घाट पर खनन एजेंसी लगातार स्टॉक कर रही है। बड़े-बड़े ढेर रेत के लग चुके है। फिलहाल यमुना नदी में पानी का स्तर कम है, जो है वह भी स्टॉक लगने से बाधित हुआ है। बरसाती मौसम है। ऐसे में अगर अचानक से पानी आ जाए तो इतने स्टॉक को एकदम से उठाया नहीं जा सकता। जिससे जलधारा बाधित होगी और नियम की अवहेलना भी साफ दिखाई देगी।

बाहर स्टॉक करने की लेनी होती है अनुमति

अधिवक्ता वरयाम सिंह ने बताया कि खनन एजेंसी को रेत स्टॉक की अनुमति लेनी होती है। जिसके लिए निर्धारित भूमि की जानकारी भी देनी होती है। वहां भी नियम अनुसार ही रेत स्टॉक किया जा सकता है। अगर खनन एजेंसी रेत स्टॉक यमुना नदी में ही कर रही है तो यह दोनों तरह से नियमों के खिलाफ है। एक ओर तो स्टॉक की मंजूरी लेने पर आने वाला खर्च बचाया जा रहा है, वहीं दूसरी ओर खनन नियमों का ठेंगा दिखाया जा रहा है। जिस पर कार्रवाई बनती है। वहीं मामले को लेकर खनन अधिकारी नीरज से भी संपर्क करने का प्रयास किया गया लेकिन उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया। अधिकारी न फोन उठाते है न कार्रवाई करते हैं

खनन किसान पीड़ित सोसाइटी के अध्यक्ष शिवकुमार चौहान का कहना है कि खनन एजेंसियां लगातार नियम तोड़ रही है। खनन एरिया से बाहर जाकर खनन किया जा रहा है। अब यमुना नदी के बीचोबीच खनन हो रहा है और वहीं स्टॉक हो रहा है। अधिकारियों का रवैया ऐसा है कि वह कोई कार्रवाई करना ही नहीं चाहते। क्षेत्र के लोग फोन पर जानकारी देते हैं तो फोन उठाना ही मुनासिब नहीं समझते। अगर लिखित में शिकायत दी जाती है तो उस पर भी कोई कार्रवाई नहीं होती। वह 12 विभागों को शिकायत दे चुके हैं लेकिन किसी भी विभाग ने कार्रवाई नहीं की। स्टॉक नदी में मिला तो कार्रवाई करेंगे : सतेंद्र सिंह

सिचाई विभाग के एसडीओ सतेंद्र सिंह का कहना है कि स्टॉक व खनन कार्य को देखना खनन विभाग की जिम्मेंदारी है। अगर खनन एजेंसी धारा को बाधित कर रही है तो वह उस पर कार्रवाई कर सकते है। यमुना नदी में रेत स्टॉक करने का कार्य उनकी जानकारी में नहीं है। जांच करेंगे, अगर उनके विभाग के अनुसार कार्रवाई बनती है तो कार्रवाई करेंगें।

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