जिन पर सांसद तक के सामने हो चुकी चर्चा, इस बार भी रोड सेफ्टी में वहीं मुद्दे, अधिकारियों का रटा रटाया जवाब-15 दिन में कार्य कर देंगे पूरा

जिले में सड़क हादसों को कम करने के लिए लघु सचिवालय में बुधवार को एक बार फिर बैठक हुई। रोड सेफ्टी को लेकर डीसी पार्थ गुप्ता की यह पहली बैठक थी। डीसी को छोड़ इस बार बैठक में कुछ नया नहीं था।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 14 Oct 2021 08:10 AM (IST) Updated:Thu, 14 Oct 2021 08:10 AM (IST)
जिन पर सांसद तक के सामने हो चुकी चर्चा, इस बार भी रोड सेफ्टी में वहीं मुद्दे, अधिकारियों का रटा रटाया जवाब-15 दिन में कार्य कर देंगे पूरा
जिन पर सांसद तक के सामने हो चुकी चर्चा, इस बार भी रोड सेफ्टी में वहीं मुद्दे, अधिकारियों का रटा रटाया जवाब-15 दिन में कार्य कर देंगे पूरा

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : जिले में सड़क हादसों को कम करने के लिए लघु सचिवालय में बुधवार को एक बार फिर बैठक हुई। रोड सेफ्टी को लेकर डीसी पार्थ गुप्ता की यह पहली बैठक थी। डीसी को छोड़ इस बार बैठक में कुछ नया नहीं था। उन्हीं खामियों पर चर्चा हुई। जिन पर पहले भी कई बैठकों में सांसद से लेकर तत्कालीन डीसी चर्चा कर चुके थे। इस बार भी लोक निर्माण विभाग के एक्सईएन राजकुमार व अन्य अधिकारियों का वही रटा रटाया जवाब मिला। सभी खामियों को एक सप्ताह से 15 दिन के अंदर ठीक करा देंगे। अलग-अलग कर 54 ब्लैक स्पोट समेत 22 एजेंडों पर चर्चा हुई। बैठक में जिन बिदुओं पर चर्चा हुई। उन पर कार्य कराने के लिए अधिकारियों को कोई टेंडर लगाने की जरूरत तक नहीं है। इनमें रोड मार्किग, रिफ्लेक्टर, संकेतक लगाने की जरूरत है। डीसी पार्थ गुप्ता ने भी बैठक में इस बात को माना कि यहां पर कार्य कराने के लिए अलग से कोई फंड की जरूरत नहीं है। डीसी पार्थ गुप्ता ने कहा कि लोगों की जिदगी बच सके। यह पुण्य का कार्य है। इसलिए ही हर खामी पर कार्य कराने को एक्सईएन को समय दिया गया है। अगली बैठक में इसका निश्चित रूप से असर दिखेगा।

चार मुख्य प्वाइंटों पर हो चुकी 64 मौत

बस स्टैंड छप्पर : नेशनल हाईवे पर बस स्टैंड छप्पर के पास दुर्घटना संभावित क्षेत्र है। यहां पर 26 हादसे हो चुके हैं। जिसमें 13 लोगों की जान गई है और 18 लोग घायल हुए हैं। यहां पर सरस्वतीनगर से नेशनल हाईवे पर जुड़ने वाले रास्ते पर स्पीड ब्रेकर बना हुआ है। यहां पर मार्किग नहीं है।

किशनपुर दामला : यहां पर लोग जिगजैग क्रोसिग करते हैं। करीब एक किमी के क्षेत्र में सड़क पार करने के लिए कोई रास्ता नहीं है। जिस वजह से सबसे अधिक हादसे यहां पर होते हैं। यहां पर 25 हादसे हो चुके हैं। जिसमें 18 मौतें व 18 लोग घायल हुए हैं। यहां पर साइन बोर्ड भी नहीं है। रोड के बीच में कट है। यहां पर ग्रिल डिवाइडर लगाने के निर्देश दिए गए।

करेहडा खुर्द नया बाइपास : यहां पर 23 हादसे हो चुके हैं। इनमें 16 मौतें व 25 लोग घायल हुए हैं। यहां पर फ्लाइओवर प्रस्तावित है। यहां पर स्पीड ब्रेकर बनाने की जरूरत है।

कैल : यहां पर 21 हादसे हो चुके हैं। इनमें 17 मौतें और 14 लोग घायल हुए हैं। यहां पर फ्लाइओवर प्रस्तावित है। इसके बावजूद फिलहाल के लिए यहां पर कोई साइन बोर्ड तक नहीं है। पहले भी बैठक में यहां का मुद्दा उठ चुका है।

इन पर भी हुई चर्चा

दामला में पुराना टोल प्लाजा हट चुका है, लेकिन अभी तक सड़क के बीच में उसका डिवाइडर बना हुआ है। इस पर कोई संकेतक भी नहीं लगा है। बैठक में विशेषज्ञों ने सुझाव दिया कि यह डिवाइडर हटा दिया जाए। यदि हटाना संभव नहीं है, तो इस पर संकेतक लगाए जाए। इसी तरह से कलानौर पुलिस चौकी के सामने भी सड़क के बीच में डिवाइडर लगा है। यह भी काफी पहले टोल के लिए लगाया गया था। अब यहां पर कोई टोल नहीं है। इसलिए इसे भी हटाया जाए। रादौर-कुरुक्षेत्र रोड पर जगह-जगह खामियां है। इस रोड पर मार्किग नहीं है। कही ब्लिकर खराब है। इसके अलावा विश्वकर्मा चौक के पास स्ट्रीट लाइट टूटी हुई पड़ी है। जगाधरी बिलासपुर रोड पर कार्य चल रहा है, लेकिन यहां पर कोई संकेतक नहीं है।

अतिक्रमण व गड्ढों का मुद्दा भी रखा गया

मधु चौक से कन्हैया चौक तक बनी सड़क पर बरसात की वजह से गड्ढे बन गए हैं। जिससे हादसे होने का खतरा रहता है। इस पर निगम अधिकारियों ने गड्ढ़े भरवाने का कार्य चलने की बात कही। जिस पर एसपी कमलदीप गोयल ने सख्त लहजे में कहा कि जब तक कार्य नहीं हो जाता। यहां पर कम से कम सुरक्षा की दृष्टि से वाइडनिग कराई जाए। यदि कोई हादसा हो गया, तो कानून व्यवस्था भी बिगड़ने का खतरा रहता है। मधु चौक के पास वाहनों की वजह से सड़क पर अतिक्रमण का भी मुद्दा रखा गया। इस पर डीसी ने कहा कि इस दिशा में लगातार अभियान चलाया जाए। ट्रेफिक लाइट व स्ट्रीट लाइटों तक घास व बेल चढ़ने के भी फोटो बैठक में दिखाए। जिस पर निगम अधिकारियों ने इसे एक या दो दिन में साफ कराने का आश्वासन दिया।

स्पीड के चालान बढ़ाने पर जोर

बैठक में एक मुद्दा स्पीड के चालान कम होने का भी रखा गया। जिले में ओवर स्पीड के काफी कम चालान हो रहे हैं। वर्ष 2021 में सबसे अधिक 21 चालान ही हुए। जिस पर एसपी कमलदीप गोयल ने कहा कि अब हर महीने 500 का लक्ष्य निर्धारित रखेंगे। इसी तरह से हेलमेट के 500 चालान का लक्ष्य रखेंगे।

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