विजयदशमी के पर्व पर पिता-पुत्र ने किए प्लेटलेट्स दान

विजयदशमी के अवसर पर पिता-पुत्र ने डेंगू से पीड़ित व्यक्ति को प्लेटलेट्स दान किए। रक्तदान को लेकर अग्रणी संस्था स्माइल फाउंडेशन के पदाधिकारियों के पास शुक्रवार को सिविल अस्पताल से फोन आया कि डेंगू से पीड़ित मरीज मदन शर्मा की प्लेटलेट्स 16 हजार रह गई हैं।

By JagranEdited By: Publish:Fri, 15 Oct 2021 04:35 PM (IST) Updated:Fri, 15 Oct 2021 04:35 PM (IST)
विजयदशमी के पर्व पर पिता-पुत्र ने किए प्लेटलेट्स दान
विजयदशमी के पर्व पर पिता-पुत्र ने किए प्लेटलेट्स दान

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : विजयदशमी के अवसर पर पिता-पुत्र ने डेंगू से पीड़ित व्यक्ति को प्लेटलेट्स दान किए। रक्तदान को लेकर अग्रणी संस्था स्माइल फाउंडेशन के पदाधिकारियों के पास शुक्रवार को सिविल अस्पताल से फोन आया कि डेंगू से पीड़ित मरीज मदन शर्मा की प्लेटलेट्स 16 हजार रह गई हैं। उनको छह से सात यूनिट प्लेटलेट्स के छोटे पाउच की जरूरत है। जैसे ही यह मैसेज संस्था के ग्रुप में आया तो पिता मोहित तलुजा और उनके पुत्र रोनित तलुजा बी पाजिटिव प्लेटलेट्स देने सिविल अस्पताल पहुंच गए। रक्तवीर समाजसेवी मोहित तलुजा का कहना है उनका पूरा परिवार रक्तसेवा में हमेशा तत्पर रहता है।

15 यूनिट प्लेटलेट्स किए दान

स्माइल फाउंडेशन की ओर से सिविल अस्पताल में शुक्रवार को 15 यूनिट प्लेटलेट्स दान किए। संस्था का प्रयास है कि डेंगू से पीड़ितों को आवश्यकता पड़ने पर प्लेटलेट्स मिल सकें। उनको भटकना न पड़े। संस्था के राहुल दुरेजा का कहना है कि यमुनानगर में हर दिन 40-50 यूनिट प्लेटलेट्स की जरूरत पड़ रही है। जिसे स्माइल फाउंडेशन संस्था पूरा करवाने की हर संभव कोशिश कर रही है। वह स्वयं 18 बार प्लेटलेट्स दान कर चुका है। यह पुण्य का काम है। हम सभी को इस पुण्य का भागीदार बनना चाहिए।

रक्तदान के लिए आगे आएं

संस्था के अध्यक्ष संजीव मेहता का कहना है कि 18 से 65 की आयु का हर स्वस्थ व्यक्ति रक्तदान कर सकता है। रक्तदान से शरीर में कोई कमजोरी नहीं आती। डेंगू बुखार ने यमुनानगर को अपनी चपेट में ले लिया है। हर इंसान का फर्ज बनता है कि इस मुश्किल घड़ी में पंद्रह मिनट का समय निकालकर सिविल अस्पताल के ब्लड बैंक में जाकर प्लेटलेट्स के लिए ब्लड का दान दें ताकि नेक जिदगियों को जीवन दान मिल सके।

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