दीपावली के बाद पहली बार ग्रीन जोन में आया जिला

अक्टूबर से शुरू हुए वायु प्रदूषण से अब थोड़ी राहत मिली है। कभी पराली जलने से तो कभी तापमान में कमी के कारण वायु प्रदूषण बढ़ता गया। दीपावली पर आतिशबाजी के चलते जिले में हवा जहरीली हो गई।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 07 Dec 2021 10:05 PM (IST) Updated:Tue, 07 Dec 2021 10:05 PM (IST)
दीपावली के बाद पहली बार ग्रीन जोन में आया जिला
दीपावली के बाद पहली बार ग्रीन जोन में आया जिला

- प्रदूषण के चलते उद्योगों के बंद होने का भी दिख रहा है असर

- 1 महीने में सबसे कम हुआ पीएम-10 और पीएम-2.5 का स्तर

- 3 महीने में पहली बार प्रदूषण का स्तर हुआ सामान्य, एक्यूआइ में हुआ सुधार

दिनांक .......पीएम-2.5 .....पीएम-10

सात सितंबर .... 65 ........ 70

29 सितंबर..... 48 ....... 191

12 अक्टूबर ......105 .... 346

31 अक्टूबर .... 330 .....475

03 नवंबर ...81 ..... 164

05 नवंबर... 497 .... 500

07 नवंबर... 424 ..... 426

12 नवंबर..... 500 ...... 500

15 नवंबर..... 475 ..... 500

20 नवंबर..... 500 ...... 500

26 नवंबर...... 500 ..... 451

एक दिसंबर ..... 325 ..... 425

चार दिसंबर...... 211 ....... 276

सात दिसंबर ..... 40 ...... 146 जागरण संवाददाता, सोनीपत : अक्टूबर से शुरू हुए वायु प्रदूषण से अब थोड़ी राहत मिली है। कभी पराली जलने से तो कभी तापमान में कमी के कारण वायु प्रदूषण बढ़ता गया। दीपावली पर आतिशबाजी के चलते जिले में हवा जहरीली हो गई। लोगों को बिना मास्क के हवा में निकलने से मना कर दिया गया। उनकी सुरक्षा के लिए गाइडलाइन जारी कर दी गईं। दीपावली के बाद हवा चलने से कभी-कभार ही प्रदूषण से थोड़ी राहत मिली, लेकिन यह सामान्य स्तर तक नहीं पहुंच पाया। बारिश से आया बदलाव :

दीपावली से पहले बारिश हो जाने के कारण प्रदूषण के स्तर में कमी आई थी। अब फिर से बारिश का असर हवा पर पड़ा है। जिले की हवा साफ हो गई है। बारिश के बाद वाहनों के आवागमन से मोटे धूल के कणों की संख्या सामान्य से करीब तीन गुना है, जबकि पीएम-2.5 का स्तर मानक के अनुरूप होकर 40 पर पहुंच गया है। वायु गुणवत्ता सूचकांक दोगुने से ज्यादा होने के बावजूद प्रदूषण मानक में जिला ग्रीन जोन में पहुंच गया है। तीन महीने में पहली बार जिले में प्रदूषण का स्तर सामान्य हुआ है। येलो और रेड जोन से निकलकर ग्रीन जोन में पहुंचने पर हवा की गुणवत्ता सेहत के लिए सही मानी जा रही है। अभियान का भी है प्रभाव :

प्रदूषण के बढ़ते स्तर के चलते शासन ने कई तरह की औद्योगिक गतिविधियों पर रोक लगा दी है। केवल बिजली और सीएनजी से चलने वाले उद्योग ही संचालित किए जा रहे हैं। ईंट-भट्ठे भी बंद कर दिए गए हैं। पुलिस की कार्रवाई से पुराने वाहनों के संचालन में कमी आई है। स्कूल-कालेज बंद होने से स्कूली वाहनों का आवागमन रुक गया है। वहीं धान की कटाई का कार्य पूर्ण हो चुका है। इससे पराली का जलाया जाना बंद हो गया है। ऐसे में हवा में जहरीली गैस और धुआं का उत्सर्जन कम हो रहा है। उसका सकारात्मक प्रभाव भी वायु की गुणवत्ता पर पड़ रहा है।

इस समय मौसम सुहाना है। सर्दी सामान्य है और हवा शुद्ध है। दोपहर में धूप निकल रही है और सुबह-शाम मनमोहक सर्दी का अहसास हो रहा है। लोगों को इस मौसम का आनंद लेना चाहिए। पार्क में जमकर सैर और वर्कआउट करें। स्माग का स्तर सामान्य है। अभी कोहरा गिरने तक वायु की गुणवत्ता बेहतर रहने की उम्मीद है।

- डा. प्रेमदीप सिंह, मौसम विज्ञानी, कृषि विज्ञान केंद्र, सोनीपत

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