अनाज मंडी से शैलरों में पहुंच रहा नमी युक्त धान

अनाज मंडी से शैलरों में नमी युक्त धान पहुंच रहा है। शैलर मालिकों क

By JagranEdited By: Publish:Tue, 19 Oct 2021 08:50 PM (IST) Updated:Tue, 19 Oct 2021 08:50 PM (IST)
अनाज मंडी से शैलरों में पहुंच रहा नमी युक्त धान
अनाज मंडी से शैलरों में पहुंच रहा नमी युक्त धान

संवाद सहयोगी, डबवाली : अनाज मंडी से शैलरों में नमी युक्त धान पहुंच रहा है। शैलर मालिकों को अतिरिक्त मजदूरी देकर धान को सुखाना पड़ रहा है। चूंकि शैलर पुरानी तकनीक से बने हुए है। उनमें नमी सोखने वाला यंत्र यानी ड्रायर नहीं है। इस वजह से नमी युक्त धान को सुखाने के लिए सन ड्राई तकनीक का प्रयोग किया जाता है। ऐसा ही मामला डबवाली में चौटाला रोड पर स्थित एक शैलर में सामने आया है। सवाल उठता है कि 17 फीसद से अधिक नमी वाला धान शैलर में कैसे सकता है, जबकि खरीद एजेंसियां नमी मापने के बाद ही खरीद करती हैं।

शैलर मालिक ने बताया कि संबंधित एजेंसी ने उसके पास नमी युक्त धान भेजा है। पिछले तीन दिनों से वह उसे सूखा रहा है। इसके लिए उसे अतिरिक्त मजदूरी देनी पड़ रही है। नमी 14-15 फीसद होगी तो ही वह इसका प्रयोग कर सकेगा। चूंकि उसके पास ड्रायर नहीं है। अगर वह अधिक नमी वाले धान का प्रयोग करता है तो चावल टूटेगा। करीब 50 फीसद तक चावल मिलेगा। जबकि उन्होंने एफसीआइ (भारतीय खाद्य निगम) को 67 फीसद चावल देना होता है। वह नमी की वजह से 17 फीसद का नुकसान नहीं झेल सकता। बताया जाता है कि शैलर मालिक ने इस संबंध में संबंधित एजेंसी मैनेजर के पास शिकायत दर्ज करवाई है। शिकायत पर मैनेजर ने दो टूक कहा कि अधिक नमी वाली धान बोरियों में भर्ती होने का सवाल ही पैदा नहीं होता है। बता दें, डबवाली अनाज मंडी में हैफेड, खाद्य एवं आपूर्ति विभाग ही धान खरीद कर रहे है।

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