त्रिस्तरीय गांवों में जांच, तहसील स्तर पर एसडीएम व प्राइमरी मानीटरिग टीम के इंचार्ज होंगे बीडीपीओ
ग्रामीण क्षेत्रों में बढ़ते कोविड के मामलों की जांच के लिए टीमों ने गांव की तरफ दौड़ लगा दी है। गांवों तक टीमों ने पहुंचकर दो स्तरों पर जांच शुरू की है।
जागरण संवाददाता, रोहतक : ग्रामीण क्षेत्रों में बढ़ते कोविड के मामलों की जांच के लिए टीमों ने गांव की तरफ दौड़ लगा दी है। गांवों तक टीमों ने पहुंचकर दो स्तरों पर जांच शुरू की है। फिलहाल दो टीमें जांच करेंगी। एक हेड क्वार्टर की टीम होगी तो दूसरी टीम में फील्ड की टीम तैनात है। रविवार को भी गांवों में टीमों ने पहुंचकर स्वास्थ्य की जांच की। 47 पंचायतों में आइसोलेशन सेंटर बनाने का दावा किया गया है। जरूरतमंदों को आइसोलेशन सेंटरों में पहुंचाने का इंतजाम किया जा रहा है।
डीडीपीओ नरेंद्र धनखड़ ने बताया कि सीएचसी(कम्युनिटी हेल्थ सेंटर) व पीएचसी(प्राइमरी हेल्थ सेंटर) में कुल आबादी और कुल घरों की संख्या के हिसाब से जांच की जा रही है। हेड क्वार्टर की टीम में एनएनएम, पटवारी और एक-एक डाटा आपरेटर तैनात किए गए हैं। जबकि फील्ड की टीम में आशा वर्कर, आंगनबाड़ी वर्कर तैनात किए गए हैं। इनके साथ ही स्कूल शिक्षक और ग्राम सचिव तैनात किए गए हैं। संबंधित सीएचसी और पीएचसी के डाक्टर भी टीम में तैनात हैं। इन्होंने बताया कि सब डिवीजन स्तरीय टीम में सांपला, महम और रोहतक के एसडीएम सब डिवीजन स्तर के इंचार्ज होंगे। संबंधित सभी क्षेत्रों के एसएमओ(सीनियर मेडिकल आफिसर) सदस्य बतौर टीम में तैनात हैं। प्राइमरी मानीटरिग टीम में संबंधित क्षेत्रों के बीडीपीओ को इंचार्ज बनाया गया है। सदस्यों में सीएचसी-पीएचसी के चिकित्सक तैनात हैं। यह सभी सीधे तौर से सीएमओ की निगरानी में कार्य करेंगे। इसके साथ ही पंचायती राज विभाग के सभी एसडीओ सदस्य बनाए गए हैं। प्रशासन कोरोना को हराने के लिए पूरी तरह सतर्क है।