विडंबना :शहर से नहीं हो रही निकासी, एसटीपी को मिल रहा आधा पानी

पानीपत में पानी की निकासी नहीं होने से लोग परेशान हैं। एसटीपी को भी आधा पानी मिल रहा। 55 एमएलडी मिल रहा एसटीपी को। 2 सीटीपी 90 एमएलडी क्षमता। आधा मिल रहा पानी। शहर में पानी की निकासी की समस्या बरकरार।

By Anurag ShuklaEdited By: Publish:Thu, 22 Jul 2021 11:56 AM (IST) Updated:Thu, 22 Jul 2021 11:56 AM (IST)
विडंबना :शहर से नहीं हो रही निकासी, एसटीपी को मिल रहा आधा पानी
औद्योगिक सेक्टरों तक पानी की पानी जमा।

पानीपत, जागरण संवाददाता। रिहायशी सेक्टर से लेकर औद्योगिक सेक्टरों तक पानी की पानी जमा है। मौहल्ले गलियों तक में पानी की निकासी नहीं हो पा रही है। बरसाती सीवर जाम पड़े हैं। अंडर पास पानी से भरे हैं। बाहरी कालोनियों में तो घरों तक में पानी घुसा है। करोड़ों रुपये हर वर्ष सीवर लाइन बिछने, सीवर नाले साफ करने पर खर्च किए जा रहे हैं। उसके बाद भी हल्की सी बरसात में सड़के लबालब हो जाती है।

सात एसटीपी क्षमता 125 एमएलडी

पानीपत में 7 एसटीपी (जल शोधन यंत्र) लगे हुए हैं। इनकी क्षमता 125 एमलडी की है। इन एसटीपी को 50 फीसद पानी की मिल पा रहा है। क्षमता से कम एसटीपी चल रहे हैं। दो सीइपीटी लगे हुए हैं। ओल्ड इंडस्ट्रियल एरिया में नया कामन ट्रीटमेंट प्लांट लगाने की तैयार है। जबकि 40 एमएलडी के बरसत रोड और देव नगर में दो एसटीपी स्वीकृत हो चुके हैं। इस प्रकार एसटीपी, सीइटीपी लगाने पर तो जोर दिया जा रहा है। इन्हें पानी उपलब्ध करवाने पर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा। शहर आधा पानी भी इन एसटीपी में नहीं पहुंच रहा। पानीपत में पूरे प्रदेश में सबसे अधिक खुले नाले 200 किलोमीटर दायरे में बने हुए है। इन नालों को साफ करने, पूलिया बनाने पर हर वर्ष लाखों रुपये खर्च किए जा रहे हैं, लेकिन इनका पानी एसटीपी पर पहुंचाया नहीं जा रहा। आधा पानी बायपास होकर बह रहा है। जो पानी एसटीपी में साफ होता है उसे भी गंदे पानी में ही मिला दिया जाता है।

इस संद्रभ में आरओ कमलजीत ने बताया कि संबंधित विभागों से शहर के पानी की कनेक्टिविटी रिपोर्ट मांगी है। विभागों का कहना है कि इसके लिए सीवर लाइन बिछ रही है। पूरे शहर का पानी एसटीपी से जोड़ा जाएगा।

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