Social Boycott : जींद में अनुसूचित जाति के 150 परिवारों का सामाजिक बहिष्‍कार, राशन भी बंद, तनाव

कबड्डी मैच देखने गए युवक के साथ हुए झगड़े के बाद उपजे विवाद के बाद जींद के गांव छातर में 150 परिवारों का सामाजिक बहिष्कार किया गया। विवाद को शांत करने के लिए प्रशासन एक बार कर चुका है मध्यस्थता।

By Anurag ShuklaEdited By: Publish:Thu, 14 Oct 2021 01:29 PM (IST) Updated:Thu, 14 Oct 2021 01:29 PM (IST)
Social Boycott : जींद में अनुसूचित जाति के 150 परिवारों का सामाजिक बहिष्‍कार, राशन भी बंद, तनाव
जींद के गांव छातर में 150 परिवारों का सामाजिक बहिष्‍कार।

जींद, जागरण संवाददाता। जींद में 150 परिवारों का सामाजिक बहिष्‍कार कर दिया गया है। सभी परिवार अनुसूचित जाति से संबंधित रखते हैं। गांव में पंचायत के फैसले के बाद ये कदम उठाया गया है। पंचायत के फैसले से गांव में तनाव का माहौल है। प्रशासन लगातार लोगों से बातचीत कर मध्‍यस्‍था कराने की कोशिश कर रहा है।

जींद के गांव छातर के अनुसूचित जाति के 150 परिवारों का सामाजिक बहिष्कार के बाद गांव में तनाव का माहौल बना हुआ है। विवाद की शुरुआत 10 सितंबर को गांव घोघड़ियां में नाग पंचमी पर आयोजित कबड्डी प्रतियोगिता से हुई थी। अनुसूचित जाति के संबंध रखने वाले गांव छातर निवासी गुरमति गांव घोघड़ियां में कबड्डी के मैच देखने के लिए गया था। जब कबड्डी मैदान पर पहुंचा तो वहां से पहले से ही उसके गांव का राजेश अपने साथियों के साथ बैठा हुआ था। राजेश ने गुरमति पर वहां पर जातीय टिप्पणी कर दी और उनके बीच में वहां पर झगड़ा हो गया।

थाने में दी थी शिकायत

इसके बाद गुरमति गांव में आ गया और उसने इसकी शिकायत उचाना थाना पुलिस में दे दी और राजेश व अन्य के खिलाफ एसी,एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज हो गया था। मामला दर्ज होते ही यह मामला जातीय रंग लेने लगा और राजेश के पक्ष में गांव के कुछ लोग आए गए और उन्होंने पंचायत करके गुरमति के समर्थन में आए अनुसूचित जाति के 150 परिवारों का सामाजिक बहिष्कार कर दिया।

एसडीएम भी आए थे मध्‍यस्‍था के लिए

जब मामला बढ़ने लगा तो 15 दिन पहले उचाना के एसडीएम डा. राजेश कोथ पुलिस अमले के साथ गांव में पहुंचे थे। जहां पर दोनों पक्षों को बैठाकर भाईचारा बनाने की अपील की थी, लेकिन उसके बाद भी मामला शांत नहीं हुआ। गांव के स्वर्ण जाति के लोग लगातार अनुसूचित जाति के परिवार पर गुरमति को अकेला छोड़ने का दबाव बना रहे थे।

राशन देने तक से मना किया

शिकायतकर्ता गुरमति ने बताया कि जब अनुसूचित जाति के लोग नहीं माने तो उनके गांव में दुकानों से राशन देने से मना कर दिया और पशुओं के लिए खेतों से चारा भी नहीं लेने दिया जा रहा है। उचाना थाना प्रभारी सोमबीर ढाका ने बताया कि सामाजिक बहिष्कार करने के मामले में 23 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। जल्द ही आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।

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