हरियाणा को बड़ा पर्यटन हब बनाने की तैयारी, 48 कोस तीर्थों की सुधारी जाएगी हालत
कैथल में धेरडू कौल पबनावा और रसीना गांव के तीर्थ में कराया जाएगा विकास। पीडब्ल्यूडी के माध्यम से कराए जाएंगे काम। 02 तीर्थ स्थलों का करोड़ों रुपये का प्रस्ताव बनाया। 51 लाख रुपये पहली किस्त के रूप में जारी किए। 134 तीर्थ स्थल 48 कोस कुरुक्षेत्र में आते हैं।
कुरुक्षेत्र,[जगमहेंद्र सरोहा]। कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड 48 कोस कुरुक्षेत्र के अंतर्गत आने वाले तीर्थ स्थलों की सूरत सुधारने के दिशा में तेजी से आगे चल पड़ा है। इसी के अंतर्गत कैथल जिले के चार तीर्थ स्थलों का सुंदरीकरण किया जाएगा। इन पर तीर्थों पर करोड़ों के विकास कार्य कराए जाएंगे। पहली किस्त में 51 लाख रुपये चारों तीर्थ स्थलों के लिए जारी किए हैं। कैथल पीडब्ल्यूडी बीएंडआर इन कामों को कराएगा। केडीबी के अधिकारी इनकी देखरेख करेंगे। इसके अलावा पानीपत के गांव सींक पाथरी स्थित तीर्थ स्थल का भी प्रस्ताव तैयार किया है। कुुरुक्षेत्र और करनाल के कई तीर्थों का भी प्रस्ताव बनाया गया है। 48 कोस कुरुक्षेत्र के अंतर्गत कुरुक्षेत्र, कैथल, करनाल, जींद और पानीपत के 134 तीर्थ स्थल आते हैं। इन तीर्थ स्थलों का अपना अलग धार्मिक महत्व है।
इन तीर्थों पर फिलहाल होंगे काम
नंबर-एक
कैथल के गांव धेरडू में ध्रूव तीर्थ है। इसका अपना महत्व है। इस तीर्थ के लिए 50 लाख का एक प्रोजेक्ट तैयार किया है।इस पर पहली किस्त में 17 लाख रुपये जारी किए हैं।
नंबर-दो
कैथल के गांव कौल में कपिल मुनि तीर्थ है। इसका 60 लाख का प्रपोजल बनाया है।केडीबी ने पहली किस्त में 19.25 लाख रुपये की पहली किस्त जारी की है।
नंबर-तीन
पबनावा गांव में पवन ह्रदय तीर्थ स्थित है। इसका 15 लाख रुपये का प्रस्ताव बनाया गया है। पहली किस्त में पांच लाख रुपये जारी किए गए हैं।
नंबर-चार
कैथल के रसीना गांव में रणमोचन तीर्थ है। तीर्थ स्थल की सुंदरता बनाने के लिए 30 लाख रुपये का प्रस्ताव बनाया है।पहली किस्त में 10 लाख रुपये मंजूर किए गए हैं।
48 कोस कुरुक्षेत्र के अंतर्गत आने वाले तीर्थ स्थलों को सुंदर व धार्मिक महत्व बढ़ाया जा रहा है। फिलहाल चार तीर्थ स्थलों का प्रस्ताव तैयार किया है। इनके लिए 51 लाख रुपये की पहली किस्त जारी की है। पीडब्ल्यूडी बीएंडआर कैथल से इन तीर्थ स्थलों पर काम कराया जाएगा।
अनुभव मेहता, सीईओ, कुरुक्षेत्र विकास बोर्ड।