Jind News: लघु सचिवालय में हाई वोल्टेज ड्रामा, पुलिस ने धरने पर बैठे लोगों को उठाया

जींद के लघु सचिवालय के गेट पर धरने पर मृतक सुनील के स्वजनों को उठाने को लेकर हाई वोल्टेज ड्रामा हुआ। लेकिन स्वजनों ने कहा कि मृतक सुनील की पत्नी ज्योति को डीसी रेट की नौकरी व 25 लाख रुपये की आर्थिक सहायता नहीं मिलती तो यहां से नहीं हटेंगे।

By Naveen DalalEdited By: Publish:Wed, 15 Sep 2021 08:08 PM (IST) Updated:Wed, 15 Sep 2021 08:08 PM (IST)
Jind News: लघु सचिवालय में हाई वोल्टेज ड्रामा, पुलिस ने धरने पर बैठे लोगों को उठाया
जींद के लघु सचिवालय के मुख्य गेट पर धरने पर बैठे मृतक सुनील के स्वजन।

जींद, जागरण संवाददाता। जींद के लघु सचिवालय के मुख्य गेट पर धरने पर मृतक सुनील के स्वजनों को उठाने को लेकर मंगलवार रात को हाई वोल्टेज ड्रामा हुआ। मृतक सुनील के स्वजन दोपहर बाद से लघु सचिवालय के मुख्य गेट के आगे बैठकर बंद कर दिया था, इसके कारण अधिकारी, कर्मचारी व आम जनता के जाने का रास्ता नहीं बचा था। लघु सचिवालय की बिगड़ती व्यवस्था को देखते हुए प्रशासन ने देर रात को भारी पुलिस बल तैनात कर दिया, लेकिन स्वजन धरना छोड़ने के लिए तैयार नहीं हुए। मध्यरात्रि को डीएसपी धर्मबीर सिंह व सिविल लाइन थाना प्रभारी हरिओम पुलिस बल के साथ धरना स्थल पर पहुंचे।

धरने पर बैठे लोगों को समझाया कि प्रशासन ने धरना देने के लिए लघु सचिवालय के बाहर स्थान निर्धारित किया हुआ है, इसलिए लघु सचिवालय परिसर में वह धरना देकर कानून को हाथ में ले रहे हैं। करीब आधा घंटे तक बातचीत चलती रही, लेकिन स्वजनों ने कहा कि जब तक मृतक सुनील की पत्नी ज्योति को डीसी रेट की नौकरी व 25 लाख रुपये की आर्थिक सहायता नहीं मिलती वह यहां से नहीं हटेंगे और उन्होंने नारेबाजी शुरू कर दी। बाद में डीएसपी धर्मसिंह ने धरने पर बैठे लोगों को नोटिस दिया कि अगर वह 20 मिनट में धरना स्थल को खाली नहीं करते हैं तो उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।

प्रशासन के कड़े तेवरों को देखते हुए धरने पर बैठे लोग नारेबाजी करते हुए वहां से उठकर लघु सचिवालय के बाहर धरना स्थल पर पहुंच गए। जहां पर रात को ही वहां पर धरना शुरू कर दिया। ज्ञात रहे कि गोहाना रोड पर शहीदी पार्क 11 सितंबर को बेसहारा सांड पकड़ने के दौरान बाइक की टक्कर से ठेकेदार के नुमाइंदे राम कालोनी निवासी सुनील की मौत हो गई थी। हालांकि पुलिस ने अलग-अलग दो मामले दर्ज किए थे। स्वजन 25 लाख रुपये की आर्थिक सहायता, डीसी रेट नौकरी की मांग पर अड़ गए और मांगे न माने जाने पर नागरिक अस्पताल में भी धरना दिया। 14 सितंबर को स्वजनों ने लघु सचिवालय में डीसी कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया और वही पोरच में डेरा डालकर धरना शुरु कर दिया।

पांचवें दिन भी नहीं उठा शव, मंगाया स्वजनों ने डी फ्रीज

मृतक सुनील का शव पिछले पांच दिन से नागरिक अस्पताल के शव गृह में रखा हुआ है। बुधवार को स्वजनों ने धरना स्थल पर डी फ्रीज को भी मंगवा लिया। जिससे साफ है कि अगर नागरिक अस्पताल के शव गृह से शव उठाने के लिए दबाव बक़ता है तो स्वजन शव को धरना स्थल पर डी फ्रीज में रखेंगे। धरने का नेतृत्व कर रहे देवीदास ने कहा कि रात को पुलिस ने नोटिस जारी कर 20 मिनट में लघु सचिवालय के पोरच खाली करने की चेतावनी दी थी। जिस पर टकराव की नीति को न अपनाते हुए पोरच को खाली कर दिया गया। उन्होंने कहा कि मौत के मामलों में दोहरा मापदंड अपनाया जा रहा है। कहीं आर्थिक सहायता तथा नौकरी दी जा रही है तो कहीं पर जरूरतमंद लोगों की आवाज को दबाया जा रहा है।

डीएसपी धर्मबीर खर्ब ने बताया कि लघु सचिवालय की पोरच में धरने से सरकारी कामकाज प्रभावित हो रहा था। धरना स्थल पर लाउड स्पीकर व नारेबाजी की जा रही थी। रात को धरने पर बैठे लोगों को नोटिस जारी किया गया था। रात को ही पोरच खाली कर दिया गया।

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