Dengue Alert: यमुनानगर में डेंगू के मरीज परेशान, सरकारी अस्पताल प्रशासन की लापरवाही, एक बेड का वार्ड बनाया

वायरल की वजह निजी अस्पतालों में दाखिल हुए कई मरीजों की मौत हो चुकी है। इनके स्वजन डेंगू होने की बात कह रहे हैं। हालांकि स्वास्थ्य विभाग डेंगू से मौत होने की पुष्टि नहीं कर रहा है। लोग प्लेटलेट गिरने को डेंगू मान लेते हैं।

By Naveen DalalEdited By: Publish:Sun, 17 Oct 2021 02:11 PM (IST) Updated:Sun, 17 Oct 2021 02:11 PM (IST)
Dengue Alert: यमुनानगर में डेंगू के मरीज परेशान, सरकारी अस्पताल प्रशासन की लापरवाही, एक बेड का वार्ड बनाया
सरकारी अस्पताल में डेंगू वार्ड के नाम पर एक बेड का वार्ड बनाया गया

जागरण संवाददाता, यमुनानगर। इस समय डेंगू वायरल की दहशत फैली हुई है। मरीजों की तेजी से प्लेटलेट घट रही है। निजी अस्पतालों में दाखिल अधिकतर मरीजों के यही हालात है। इस समय जिले में 67 मरीज डेंगू के मिल चुके हैं। हालांकि यह सरकारी आंकड़ा है। निजी अस्पतालों में काफी मरीज दाखिल हैं। कई अस्पतालों में बेड तक फुल है। वहां पर मरीजों को दाखिल नहीं किया जा रहा है। सरकारी अस्पताल में डेंगू वार्ड के नाम पर एक बेड का वार्ड बनाया गया है। यहां पर सुविधा न होने की वजह से मरीजों को निजी अस्पताल में जाना पड़ रहा है। 

डेंगू व वायरल के मरीजों की प्लेटलेट घट रही हैं

कई ऐसे भी मरीज हैं, जिन्हें केवल वायरल हुआ और उनकी प्लेटलेट काफी कम हो गई। यही वजह है कि प्लेटलेट की मांग भी बढ़ गई है। रक्तदानी संगठनों से जुड़े लोगों के पास भी इस समय प्लेटलेट के लिए भी अधिक काल आ रही है। स्माइल फाउंडेशन के प्रधान संजीव मेहता ने बताया कि उनकी हेल्पलाइपन पर प्लेटलेट के लिए ही अधिक काल आ रही है। जिस पर फाउंडेशन से जुड़े सदस्य अपने-अपने क्षेत्र में सक्रिय रहते हैं। जहां जरूरत पड़ती है। वहां पर प्लेटलेट दान की जाती है। जिससे मरीजों की जान बच सके। 

डेंगू किडनी व लीवर पर कर रहा असर 

डेंगू किडनी व लीवर भी असर कर रहा है। फिजिशियन डा. नितिन गुप्ता ने बताया कि अस्पताल में अधिकतर मरीज वायरल के आ रहे हैं। उनकी डेंगू की भी जांच कराई जा रही है, क्योंकि डेंगू किडनी व लीवर भी असर कर रहा है। ब्लड इंफेक्शन भी हो रहा है। इसलिए संदिग्ध लक्षण दिखने पर तुरंत चिकित्सक के पास जाना चाहिए। जिससे समय रहते इलाज शुरू हो सके। 

कई मरीजों की हो चुकी मौत

वायरल की वजह निजी अस्पतालों में दाखिल हुए कई मरीजों की मौत हो चुकी है। इनके स्वजन डेंगू होने की बात कह रहे हैं। हालांकि स्वास्थ्य विभाग डेंगू से मौत होने की पुष्टि नहीं कर रहा है। जिला निगरानी अधिकारी डा. वागीश गुटैन का कहना है कि लोग प्लेटलेट गिरने को डेंगू मान लेते हैं। ऐसा नहीं है। वायरल में भी प्लेटलेट गिर जाती है। एलाइजा टेस्ट के बाद ही डेंगू की सही पुष्टि होती है। इसलिए ही लोगों से अपील की जा रही है कि वह संदिग्ध लक्षण दिखने पर तुरंत नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में टेस्ट कराए।

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