कैथल में निजी स्कूलों और शिक्षा विभाग में टकराव, डीईओ से स्कूल संचालक बोले- जो मर्जी करो, स्कूल तो खुलेंगे

कैथल में स्कूल बंद रखने को लेकर निजी स्कूल संचालकों और शिक्षा विभाग में टकराव की स्थिति पैदा हो गई है। स्कूल खुलने की जानकारी जुटाने के लिए बीईओ के नेतृत्व में छह टीमें गठित की गई हैं। स्कूल खुले मिले तो मुख्यालय को कार्रवाई करने की अपील की जाएगी।

By Umesh KdhyaniEdited By: Publish:Tue, 13 Apr 2021 05:14 PM (IST) Updated:Tue, 13 Apr 2021 05:14 PM (IST)
कैथल में निजी स्कूलों और शिक्षा विभाग में टकराव, डीईओ से स्कूल संचालक बोले- जो मर्जी करो, स्कूल तो खुलेंगे
प्राइवेट स्कूल वेलफेयर एसोसिएशन का प्रतिनिधिमंडल डीईओ अनिल शर्मा और डीईईओ दलीप सिंह से मिलता हुआ।

कैथल, जेएनएन। हरियाणा सरकार द्वारा काेरोना महामारी के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए पहली से आठवीं कक्षा तक स्कूलों को बंद करने का फैसला लिया गया है। परंतु इस फैसले का निजी स्कूल संचालकों ने पूरी तरह से विरोध कर दिया है। इसको लेकर सोमवार को जिले में अधिकतर स्कूल खुले रहे थे।

इसी कड़ी में निजी स्कूल संचालकों ने दो अवकाश घोषित किए हैं। इन स्कूल संचालकों का कहना है कि वह अवकाश के बाद ही स्कूल खोलने की जानकारी को लेकर अपना फैसला लेंगे। प्राइमरी व मिडिल विंग तक स्कूलों को 30 अप्रैल तक बंद करने के फैसले पर प्राइवेट स्कूल वेलफेयर एसोसिएशन का एक प्रतिनिधिमंडल जिला शिक्षा अधिकारी (डीईओ) अनिल शर्मा और जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी दलीप सिंह से मिला। प्रतिनिधिमंडल में राज्य महासचिव वरुण जैन, प्रधान परमानंद गोयल, चेयरमैन बलविंद्र संधू, राज्य कार्यकारिणी सदस्य महिपाल कौशिक, ब्लॉक प्रधान विकास धीमान शामिल रहे।

स्कूल संचालक बोले- सरकार जो चाहे कार्रवाई करे

सदस्याें ने जिला शिक्षा अधिकारी के समक्ष स्कूलों को निरंतर खोलें जाने का प्रस्ताव रखा। इस पर डीईओ ने निजी स्कूल संचालकों को स्कूल खोलने से साफ इन्कार कर दिया। डीईओ ने कहा कि महामारी के बचाव के लिए उन्हें सरकार के आदेशों को मानना पड़ेगा। यदि नहीं मानेंगेे तो कार्रवाई भी की जा सकती है। वहीं, स्कूल खुलने की जानकारी को लेकर डीईईओ ने खंड शिक्षा अधिकारियों के नेतृत्व में टीमों का गठन किया गया है। जो अपने-अपने क्षेत्र में जाकर पहली से आठवीं तक की कक्षा के स्कूलों के खुलने की जानकारी हासिल करेंगे। निजी स्कूल संचालकों ने कहा कि सरकार उन पर जो भी कार्रवाई करना चाहा तो वह कर सकती है, लेकिन स्कूल तो खुलेंगे।

निजी स्कूलों ने सरकार के फैसले का कर रखा है बहिष्कार

बता दें कि निजी स्कूल संचालकों ने स्कूलों को पूरी तरह से खोलने का फैसला लेकर सरकार के फैसले का बहिष्कार कर रखा है। इसी कड़ी में सोमवार को भी निजी स्कूल पहली से आठवीं कक्षा के लिए खुले रहे थे। अब 15 अप्रैल को राज्य कार्यकारिणी के आदेशों के तहत आगे की रणनीति बनाई जाएगी।

बेवजह जारी हो रहे नए-नए फरमान : जैन

प्राइवेट स्कूल वेलफेयर एसोसिएशन के राज्य महासचिव वरुण जैन ने कहा कि स्कूलों को खोलकर केवल बच्चों को पढ़ाने का कार्य किया जा रहा है। परंतु सरकार बेवजह ही नए-नए फरमान जारी कर स्कूलों को बंद करवाने पर तुली है। निजी स्कूल संचालक के साथ अभिभावक भी हैं। वे अपने बच्चों को स्कूलों में भेजने के लिए राजी हैं तो सरकार क्यों रोक रही है। शिक्षक अपने बच्चों को पढ़ाने के लिए स्कूलों को खोलने से कतई पीछे नहीं हटेंगे। यदि सरकार कार्रवाई करना चाहती है तो करे, निजी स्कूल संचालक पीछे नहीं हटेंगे।

बीईओ के नेतृत्व में छह टीमों का गठन 

जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी दलीप सिंह ने कहा कि स्कूल संचालक स्कूल खोलने की मांग पर मिले थे। इस पर डीईओ ने उन्हें सरकार के आदेश मानने का आह्वान किया है। जबकि मैंने बीईओ के नेतृत्व में छह टीमों का गठन किया है। यह टीमें निजी स्कूल में पहली से आठवीं तक पहुंचने वाले विद्यार्थियों की जानकारी प्राप्त करेंगे। यदि किसी स्कूल में बच्चे मिलते हैं तो उस स्कूल के खिलाफ मुख्यालय में निदेशक को कार्रवाई करने की अपील की जाएगी।

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