14 दिन में दूसरी बार टूटी ड्रेन नंबर-दो, 80 एकड़ फसल जलमग्न
14 दिन दिन में दूसरी बार वीरवार को छाजपुर कलां के आरोही स्कूल के पास वीरवार सुबह छह बजे ड्रेन नंबर-दो टूट गई। इसी वजह से छाजपुर कलां जालपहाड़ और रसलापुर के किसानों की धान गन्ने और ज्वार की करीब 80 एकड़ पानी में डूब गई। शाम का सिचाई विभाग के कर्मचारियों ड्रेन के तटबंध पर मिट्टी डाल दी है।
संवाद सहयोगी, सनौली, बापौली : 14 दिन दिन में दूसरी बार वीरवार को छाजपुर कलां के आरोही स्कूल के पास वीरवार सुबह छह बजे ड्रेन नंबर-दो टूट गई। इसी वजह से छाजपुर कलां, जालपहाड़ और रसलापुर के किसानों की धान, गन्ने और ज्वार की करीब 80 एकड़ पानी में डूब गई। शाम को सिचाई विभाग के कर्मचारियों ड्रेन के तटबंध पर मिट्टी डाल दी। इससे पानी का खेतों की तरफ बहाव बंद हो गया है।
मौके पर बीडीपीओ सुरेश संभरवाल और नहर विभाग के जेई राजू दुग्गल पहुंचे और जायजा लिया। जेई दुग्गल ने बताया कि तटबंध कमजोर होने के कारण कई बार पानी बाहर निकल जाता है। टूटे तटबंध की मरम्मत करा दी गई है। इससे पहले 16 जुलाई को भी ड्रेन नंबर-दो टूट गई थी। तब भी किसानों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ा था। इन किसानों की फसल डूबी
ड्रेन के पानी से ग्रामीण मैनपाल, सेठपाल, राजेश, तेजा, लख्मी, भोपाल, राजेंद्र, सुरेश, महाबीर, विजेंद्र और सूरजभान की फसल डूब गई है। पीड़ित किसानों का कहना है कि ड्रेन की दो साल से सफाई नहीं हुई है। वे कई बार प्रशासन से मांग कर चुके हैं है कि ड्रेन की सफाई कर किनारों को मजबूत किया जाए, लेकिन उनकी सुनवाई नहीं हो पाई है। ड्रेन के किनारे बार-बार टूट रहे हैं और पानी से उनकी फसलों का नुकसान हो रहा है।
किसानों की पीड़ा
किसान विजेंद्र का कहना है कि उन्होंने तीन एकड़ भूमि बंटाई पर ली हुई है। ड्रेन के पानी से फसल बर्बाद हो जाएगी। किसान सूरजभान ने बताया कि नहरी विभाग ने ड्रेन की सफाई नहीं कराई और न ही किनारों को पक्का किया गया है। लापरवाही के कारण किनारा टूट गया और उसकी फसल नष्ट हो गई है।