लॉकडाउन का रोडवेज पर पड़ा बड़ा असर, कुरुक्षेत्र रोडवेज डिपो को 2.10 करोड़ का नुकसान

हरियाणा में लॉकडाउन और कोरोना महामारी की वजह से कुरुक्षेत्र रोडवेज डिपो को हुआ 2.10 करोड़ का नुकसान। डिपो में 151 बसों में से लगभग 50 बसें ही सड़कों पर दौड़ रही। अप्रैल माह में 3.2 करोड़ की हुई थी आमदनी।

By Anurag ShuklaEdited By: Publish:Sat, 05 Jun 2021 04:08 PM (IST) Updated:Sat, 05 Jun 2021 04:08 PM (IST)
लॉकडाउन का रोडवेज पर पड़ा बड़ा असर, कुरुक्षेत्र रोडवेज डिपो को 2.10 करोड़ का नुकसान
कुरुक्षेत्र रोडवेज डिपो को कोरोना महामारी में नुकसान।

कुरुक्षेत्र, जेएनएन। कोरोना महामारी के बढ़ते प्रकोप को खत्म करने के लिए सरकार ने मई माह में प्रदेशभर में लाकडाउन लगाया था। इसके साथ दूसरी बसों में 50 फीसदी यात्री बैठाने की अनुमति के साथ बसों को चलाने के निर्देश ने कुरुक्षेत्र डिपो को मई माह में 2.10 करोड़ का नुकसान पहुंचाया है। वहीं अगर डिपो की अप्रैल माह की आमदनी पर नजर डाले तो डिपो की 3.2 करोड़ की आमदनी हुई थी। जो सीधा 2.10 करोड़ घटकर मात्र 91.90 लाख पहुंच गई।

गौरतलब है कि अनलाक के दौरान कुरुक्षेत्र डिपो में से रोजाना 150 बसें अपने विभिन्न रूटों पर सड़कों पर दौड़ती थी और रोजाना लगभग 10 लाख रुपये की आमदनी करके अपने बेड़े में लौटती थी। लेकिन जब से सरकार की ओर से 50 फीसदी यात्री बैठाने की अनुमति और मई माह में लगे लाकडाउन ने डिपो को करोड़ों रुपयों का नुकसान पहुंचाया है।

स्कूल, कालेज, विश्वविद्यालय बंद से भी लाखों को हो रहा नुकसान

रोडवेज अधिकारियों ने बताया कि कोरोना महामारी के चलते लंबे समय से स्कूल, कालेज, विश्वविद्यालय व अन्य शिक्षण संस्थान पूर्ण रूप से बंद पड़े हुए है। जिसके कारण भी डिपो को लाखों रुपयों का नुकसान उठाना पड़ रहा है। सभी शिक्षण संस्थान खुलने के बाद लगभग 10 से 11 लाख रुपयों के पास बनते थे। जिससे डिपो को आमदनी होती थी। लेकिन अब संस्थान बंद है तो डिपो को नुकसान हो रहा है।

चेकिंग स्टाफ भी बैठा खाली

रोडवेज अधिकारियों ने बताया कि रोडवेज डिपो में तीन चेकिंग स्टाफ की टीमें गठित है। जिनमें एक टीम में लगभग सात से आठ कर्मचारी कार्यरत है। जो हर माह 80 हजार रुपये से एक लाख रुपये तक बे-टिकट यात्रियों से वसूलते थे। लेकिन अब चेकिंग स्टाफ भी खाली बैठा हुआ है। जिससे भी डिपो को नुकसान हो रहा है।

50 बसों का ही हो रहा है संचालन

कुरुक्षेत्र डिपो व पिहोवा सब-डिपो से 50 के लगभग ही बसें चलाई जा रही है। जो लोकल रूटों पर दौड़ रही है। जो लगभग ढ़ाई से तीन लाख रुपये आमदनी करके ला रही है। इससे पहले डिपो से 150 बसों का संचालन होता था।

पांच पिंक बसों को बनाया गया है एंबुलेंस

पांच पिंक बसों को एंबुलेंस बनाया गया है। सभी बसें 24 घंटे तैयार रहती है। 20 कर्मचारियों की स्पेशल ड्यूटी लगाई गई है। आगामी आदेशों तक इन बसों को एंबुलेंस सेवा में ही रखा जाएगा।

रोडवेज परिसर में आने वाले यात्रियों को देखते हुए ही बसों को डिपो से रवाना किया जा रहा है। सभी परिचालक बसों में 50 फीसदी ही यात्री बैठा रहे है। लंबे रूटों की बसें बंद है। जिससे डिपो को भारी नुकसान हो रहा है। लेकिन जब तक सरकार व परिवहन विभाग के नए आदेश जारी नहीं होते तब तक ऐसे ही बसों का संचालन किया जाएगा।

अशोक मुंजाल, जीएम, डिपो कुरुक्षेत्र।

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