Ambala Central Jail: 25 फीट की लंबी दिवार, सिक्योरिटी गार्ड का पहरा, फिर भी कैदियों तक पहुंच रहा है नशा

अंबाला की सेंट्रल जेल में कैदी-बंदियों के पास नशा पहुंच रहा है यानी जेल सुरक्षा पूरी तरह से खत्म हो चुकी। कैदी-बंदी इतने हाईटेक हो चुके की अधिकारियों से चार कदम आगे हैं। हाल में ही दो कैदियों से अफीम बरामद हो चुकी है।

By Rajesh KumarEdited By: Publish:Wed, 15 Sep 2021 06:25 AM (IST) Updated:Wed, 15 Sep 2021 07:01 AM (IST)
Ambala Central Jail: 25 फीट की लंबी दिवार, सिक्योरिटी गार्ड का पहरा, फिर भी कैदियों तक पहुंच रहा है नशा
अंबाला सेंट्रल जेल में कैदियों तक पहुंच रहा है नशा।

अंबाला शहर, जागरण संवाददाता। अंबाला सेंट्रल जेल में नशे की रोकथाम के लिए जेल प्रशासन द्वारा किए जा रहे सारे प्रयास विफल नजर आ रहे हैं। जेल में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बावजूद भी जेल में नशा पहुंचने का सिलसिला अब भी जारी है। अंबाला की सेंट्रल जेल में कैदी-बंदियों के पास नशा पहुंच रहा है यानी जेल सुरक्षा पूरी तरह से खत्म हो चुकी। कैदी-बंदी इतने हाईटेक हो चुके की अधिकारियों से चार कदम आगे हैं। हाल में ही दो कैदियों से अफीम बरामद हो चुकी है, इसके बाद भी यह कार्य जारी है। इससे पहले भी कैदी-बंदियों से अफीम आदि नशा पकड़ा जा चुका है। गुटखा-जर्दा तो आम बात हो चुकी है। इसके अलावा जेल में कैदियों से मोबाइल मिलने के मामले भी सामने आ चुके हैं।

जेल की दीवार भी पड़ी छोटी

सेंट्रल जेल की दीवार करीब 25 फीट की हैं और इसके चारों कोनों पर सिक्योरिटी गार्ड का पहरा है। इसके बाद भी ल के अंदर मोबाइल और नशा पहुंच रहा। जेल के मुताबिक कुछ शरारती तत्व जेल की दीवार के ऊपर से मोबाइल व नशा को फेंक देते हैं। जो चेकिंग के दौरान बरामद हो रहे हैं।

इन राज्यों के हवालाती जेल में बंद

सेंट्रल जेल में हरियाणा के अलावा पंजाब, उत्तर प्रदेश, हिमाचल, उत्तराखंड, राजस्थान और दिल्ली के कैदी-बंदी है। सूत्रों के अनुसार सेंट्रल जेल में शातिर हवालाती फेसबुक, वाट्सअप से लेकर ट्विटर अकाउंट तक हैंडल कर रहे हैं। यह जेल की सुरक्षा के लिए बड़ा खतरा बन सकता है। बता दें मौजूदा समय में सेंट्रल जेल में एक ही 3जी जैमर जो पुरानी तकनीक का है। यह जैमर कैदियों के मोबाइल का नेटवर्क जाम करने में असमर्थ है। दरअसल, सेंट्रल जेल में बंद कैदी और बंदियों के लिए फोन पर बात करने की सुविधा है। इसके लिए लैंडलाइन फोन पर बात कराई जाती है। नियम यह भी है कि जिनसे बात करनी होती है उनके नाम व नंबर और रिश्ता पहले जेल अधिकारियों को बताना पड़ता है। उसके बाद यह सुविधा मिलती है।

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